भुवनेश्वर: ओडिशा के जाजपुर में 10 कटे हुए हाथ मिलने से सनसनी फैल गई है। शुरुआती जांच के बाद पुलिस का कहना है कि ये हाथ 2006 में पुलिस फायरिंग में मारे गए आदिवासियों के हो सकते हैं। मामले की जांच की जा रही है और इलाके में भारी तादाद में पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है।
ये हाथ कलिंग नगर में मिले हैं और माना जा रहा है कि ये उन जनजातीय समुदाय के लोगों के हैं, जो 2006 में पुलिस फायरिंग में मारे गए थे। वे उस साल जनवरी में एक स्टील प्लांट के लिए भूमि अधिग्रहण का विरोध कर रहे थे, जब बेकाबू भीड़ पर पुलिस ने गोलियां चला दी थी। इस दौरान 13 लोगों की जान चली गई थी।
पुलिस का कहना है कि कुछ मृतकों की शिनाख्त नहीं हो पाई थी और इस कारण डॉक्टरों ने फिंगरप्रिंट्स लेने के लिए कुछ शवों के हाथ काटे थे। दो साल पहले ये कटे हुए हाथ मृतकों के परिजनों को दिए गए थे, लेकिन उन्होंने डीएनए टेस्ट की मांग करते हुए इसे लेने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद इन्हें सुरक्षित मेडिकल बॉक्स में रखा गया था। पुलिस को ये कटे हुए हाथ रविवार को उसी इलाके में मिले, जहां एक क्लब में इन्हें मेडिकल बॉक्स में सुरक्षित रखा गया था।
एसपी सीएस मीना ने बताया कि शनिवार को कुछ शरारती तत्वों ने क्लब की खिड़की तोड़ी और अंदर दाखिल हुए। ये लोग यह मेडिकल बॉक्स उठाकर ले गए थे। इसी बॉक्स में दस हाथ रखे थे। शरारती तत्वों ने इसे जाजपुर में ले जाकर फेंक दिया। स्थानीय लोगों को ये हाथ मिले तो हड़कंप मच गया। आसपास इलाके में तनाव फैलने लगा। भारी पुलिस तैनात करके लोगों पर काबू पाया गया। हालांकि इस मामले में कोई एफआईआर दर्ज नहीं हुई है।
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