भुवनेश्वर: केंद्र सरकार की प्रमुख स्वास्थ्य योजना लागू करने से राज्य सरकार के इंकार करने पर ओडिशा में राजनीतिक विवाद खड़ा हो गया है। राज्य ने इसके पीछे तर्क दिया है कि उसके पास आयुष्मान भारत राष्ट्रीय स्वास्थ्य संरक्षण मिशन से बेहतर योजना - बीजू स्वास्थ्य कल्याण योजना है जिसमें लाभार्थियों की संख्या भी ज्यादा है। विपक्षी भाजपा इसे राज्य सरकार द्वारा केंद्रीय योजनाओं का श्रेय लेने का प्रयास मान रही है।
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री प्रताप जेना ने ओडिशा की योजना को केंद्र की योजना से “ज्यादा बेहतर” बताते हुए कहा कि केंद्रीय योजना में जितने परिवारों को शामिल किया जाएगा उससे ज्यादा परिवार बीएसकेवाई योजना के तहत शामिल होंगे। जेना ने कहा , “ केंद्र ने आयुष्मान भारत कार्यक्रम में 70 लाख परिवारों को शामिल करने के हमारे प्रस्ताव को खारिज कर दिया था और हम पर केवल 61 लाख परिवारों को शामिल करने का दबाव बनाया। इसलिए हमने अपनी योजना तैयार करना तय किया।”
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने अपनी योजना लागू करने की तारीख घोषित नहीं की है लेकिन राज्य ने इसे 15 अगस्त को लागू करने का फैसला पहले ही कर लिया है और इसकी पूरी लागत राज्य सरकार उठाएगी।” भाजपा ने आरोप लगाया है कि बीजद सरकार केंद्रीय योजनाओं का श्रेय लेने की कोशिश कर रही है और लोगों को उन्हें स्वास्थ्य सेवा अधिकारों से वंचित रख रही है।
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