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Hindi News भारत राष्ट्रीय निपाह से संक्रमित पाया गया केरल का 23 वर्षीय छात्र, मंत्री ने कहा- घबराने की जरूरत नहीं

निपाह से संक्रमित पाया गया केरल का 23 वर्षीय छात्र, मंत्री ने कहा- घबराने की जरूरत नहीं

पिछले साल मई में कोझिकोड और मलाप्पुरम जिलों में निपाह वायरस के 22 मामलों में 12 लोगों की मौत हो गई थी।

Nipah confirmed in Kerala patient, protocols set up to combat spread | PTI File- India TV Hindi Nipah confirmed in Kerala patient, protocols set up to combat spread | PTI File

तिरुवनंतपुरम: केरल के कोच्चि के पास इलाज करा रहे युवक की निपाह वायरस (NIV) की जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। केरल की स्वास्थ्य मंत्री के.के. शैलजा ने मंगलवार को इस बात की पुष्टि की। आपको बता दें कि इसकी जांच पुणे की नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वीरोलॉजी ने की थी। मंत्री ने यह भी आश्वासन दिया कि इस आपातकाल से निपटने के लिए पर्याप्त व्यवस्था की गई है और घबराने की कोई जरूरत नहीं है। सोमवार को युवक की जांच रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा था।

दरअसल, पिछले साल मई में कोझिकोड और मलाप्पुरम जिलों में निपाह वायरस के 22 मामलों में 12 लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद लोगों में इसका भारी डर बैठ गया है। एर्नाकुलम स्वास्थ्य प्रशासन ने कहा कि युवक का इलाज कोच्चि के निकट एक निजी अस्पताल में चल रहा है। इससे पहले स्वास्थ्य मंत्री के. के. शैलजा ने कहा कि छात्र जिन 86 लोगों के संपर्क में आया उनकी सूची तैयार कर ली गई है और वे मेडिकल निगरानी में हैं। केरल के स्वास्थ्य विभाग ने निपाह के प्रकोप से निपटने के लिए एहयतियाती उपाय करना शुरू कर दिए हैं।

सोमवार को लोगों के बीच भरोसा कायम करते हुए मंत्री ने कहा था कि डरने की कोई जरुरत नहीं है और सरकार स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह सक्षम है। सरकार ने पिछले साल कोझीकोड और मलप्पुरम जिलों में निपाह वायरस से सफलतापूर्वक जंग लड़ी थी। मंत्री ने सोशल मीडिया उपभोक्ताओं से जनता के बीच डर पैदा ना करने की अपील की। उन्होंने कहा कि कोझीकोड से चिकित्सा विशेषज्ञ पहले ही कोच्चि पहुंच गए हैं और स्थिति से निपटने के लिए पर्याप्त दवाएं तथा चिकित्सा उपकरण हैं।

एर्नाकुलम के जिला कलेक्टर मोहम्मद वाई सफ्फीरूल्ला ने कहा कि स्थिति से निपटने के लिए सरकारी और निजी अस्पतालों में क्षमता निर्माण के लिए कदम उठाए गए हैं। निपाह के संदिग्ध मामलों पर नजर रखने के लिए निगरानी टीमें गठित की गई हैं। उन्होंने बताया कि कलामसेरी के सरकारी मेडिकल कॉलेज में मरीजों को निपाह के संदिग्ध मामलों से अलग करने के इंतजाम किए गए हैं।

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