नागपुर: सऊदी अरब के एक बंदरगाह पर रूके हुए एक पोत पर सवार मर्चेंट नेवी के एक अधिकारी की पिछले दिनों मौत हो गई थी। महाराष्ट्र के नागपुर में रहने वाले उनके माता-पिता ने उनका शव भारत भेजने की प्रक्रिया को तेज करने का अनुरोध किया है। भारतीय दूतावास के मुताबिक, प्रक्रिया में तीन से चार हफ्त्ते का वक्त लग सकता है लेकिन मृतक लव शर्मा के पिता राजीव शर्मा ने इस देरी पर सवाल किया है।
‘बहरी बल्क’ नाम का पोत 24 फरवरी को दम्माम में रूका हुआ था तब 35 वर्षीय लव शर्मा की पोत पर ही मौत हो गई। वह पोत पर नवंबर 2018 से मुख्य अधिकारी के तौर पर कार्यरत थे। राजीव शर्मा ने बताया कि 24 फरवरी को पोत प्रबंधकों ने मुझे सूचित किया कि दुर्भाग्यपूर्ण घटना में लव गिर पड़े और उन्हें अस्पताल ले जाया गया। तीन घंटे बाद उन्हें बताया गया कि लव की मौत हो गई है।
उन्होंने बताया कि सऊदी अरब में भारतीय दूतावास ने नौवहन महानिदेशालय को सूचित किया कि उनका शव वापस लाने में छह से आठ हफ्ते लग सकते हैं। राजीव शर्मा ने बताया, ‘‘जांच चल सकती है। मुझे कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन शव तो कुछ नहीं बोलेगा। इसे पोस्टमार्टम के बाद परिवार के पास भेज देना चाहिए। मैं यह समझ नहीं पा रहा हूं कि शव को इतने लंबे वक्त तक रोक कर क्यों रखा गया है।’’
उन्होंने बताया कि उन्होंने नागपुर में नौवहन मंत्री नितिन गडकरी के दफ्तर से संपर्क किया है और मंत्री से निजी दखल की गुजारिश की है। गडकरी का कार्यालय डीजी नौवहन के साथ संपर्क में है और उन्होंने बताया है कि शव वापस आने में दो महीने तक लग सकते हैं।
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