नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कोरोना वायरस संक्रमण की देश में मौजूदा स्थिति और इस कारण 25 मार्च से लागू देशव्यापी लॉकडाउन सहित अन्य विषयों पर सोमवार को विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बैठक कर चर्चा की। सूत्रों के अनुसार, 3 मई के बाद ग्रीन जोन वाले इलाके में छूट दी जाएगी, वहीं रेड जोन वाले इलाकों में कोई छूट नहीं मिलेगी। इस मीटिंग में बिहार सरकार ने ज्यादा टेस्टिंग किट की भी मांग की। पीएम ने मुख्यमंत्रियों से कहा कि अर्थव्यवस्था को लेकर परेशान होने की जरूरत नहीं है।
मोदी सरकार की सारी कवायद अब कोरोना से सबसे प्रभावित इलाकों को कंटेन करने की है और इसके लिए देश को तीन हिस्सों में बांटा गया है। इनमें सबसे ज़्यादा ख़तरा है रेड ज़ोन में। यानी वो इलाका जहां कोरोना संक्रमित मरीज़ों की संख्या 10 या उससे ज़्यादा है।
इसके अलावा रेड ज़ोन से संक्रमण फैलने का ख़तरा सबसे ज़्यादा है। इसके बाद ऑरेंज ज़ोन है जहां कोरोना के मरीजों की संख्या कम है लेकिन संक्रमण का ख़तरा बना हुआ और तीसरा है ग्रीन ज़ोन यानी वो इलाका जहां कोरोना का कोई मरीज़ नहीं है या जो मरीज़ थे वो पूरी तरह ठीक हो चुके हैं। भारत के कुल 747 जिलों में से 339 जिलों में एक भी कोराना केस सामने नहीं आया है। 180 जिलों को रेड जोन में रखा गया है तो 228 जिले ऑरेंज जोन में हैं।
सूत्रों के अनुसार, पीएम ने बैठक में कहा कि लॉकडाउन का देश को लाभ मिला है। उन्होंने लॉकडाउन पर राज्यों को संयम का मंत्री भी दिया। कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए देश में 25 मार्च से दो चरण में लॉकडाउन लागू किया गया है। देश में कोरोना संकट की शुरुआत के बाद 22 मार्च से अब तक प्रधानमंत्री मोदी राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ चार बार वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये बैठक कर चुके हैं।
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