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Hindi News भारत राष्ट्रीय Tourist Highway में बदलेगी लेह से कारगिल की सड़क, जानिए क्या है सरकार का प्लान

Tourist Highway में बदलेगी लेह से कारगिल की सड़क, जानिए क्या है सरकार का प्लान

केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार प्रहलाद सिंह पटेल ने IANS को बताया, लेह-लद्दाख से कारगिल जाने वाले रास्ते पर अभी जनसुविधाएं नहीं हैं। हम चाहते हैं कि हाईवे पर हर 20 से 25 किलोमीटर पर ऑक्सीजन पॉर्लर खोले जाएं। जहां ऑक्सीजन की व्यवस्था के साथ चिकित्सकीय सुविधा भी हो। कूड़े के भी प्रबंध हों। ये इंफ्रास्ट्रक्चर सरकार बनाएगी, लेकिन चलाएंगे इसे स्थानीय गांव के लोग।

Leh to Kargil Road to be converted into tourist highway Tourist Highway में बदलेगी लेह से कारगिल की - India TV Hindi Image Source : HTTPS://TWITTER.COM/IANSKHABAR Tourist Highway में बदलेगी लेह से कारगिल की सड़क, जानिए क्या है सरकार का प्लान

नई दिल्ली. लेह से कारगिल (Leh to Kargil Road) जाने वाली सड़क को टूरिस्ट हाईवे (Tourist Highway) का रूप दिया जाएगा। केंद्र सरकार के संस्कृति और पर्यटन मंत्रालय ने यह प्लान तैयार किया है। लेह-कारगिल के बीच करीब 230 किमी हाईवे पर नियमित अंतराल पर पर्यटकों के लिए तमाम सुविधाओं का विकास होगा। जिससे लेह से कारगिल का सफर सुगम और सुहाना होगा। दुनिया में पर्यटन के क्षेत्र में कारगिल को पहचान दिलाने के लिए अब यहां पर्यटकों के लिए कई तरह की सहूलियतों के विकास की दिशा में कार्य का एक्शन प्लान तैयार हो रहा है। मंत्रालय को उम्मीद है कि कारगिल की रोड और एयर कनेक्टिविटी बेहतर होने पर घूमने के लिए स्विटजरलैंड आदि दूसरे देशों में जाने वाले भारतीय कारगिल, द्रास आदि इलाकों में घूमना पसंद करेंगे।

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केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार प्रहलाद सिंह पटेल ने IANS को बताया, लेह-लद्दाख से कारगिल जाने वाले रास्ते पर अभी जनसुविधाएं नहीं हैं। हम चाहते हैं कि हाईवे पर हर 20 से 25 किलोमीटर पर ऑक्सीजन पॉर्लर खोले जाएं। जहां ऑक्सीजन की व्यवस्था के साथ चिकित्सकीय सुविधा भी हो। कूड़े के भी प्रबंध हों। ये इंफ्रास्ट्रक्चर सरकार बनाएगी, लेकिन चलाएंगे इसे स्थानीय गांव के लोग।

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प्रहलाद सिंह पटेल के मुताबिक, लेह-लद्दाख और कारगिल में स्थित सैंकड़ों धरोहरों के बारे में अभी लोगों को ज्यादा जानकारी नहीं है। ऐसे में सभी धरोहरों की कल्चरल मैपिंग की भी पहल की जा रही है। लेह से कारगिल जाने वाले रास्ते पर कौन-कौन सी धरोहरें स्थित हैं, इसके बारे में मंत्रालय की वेबसाइट से जानकारी मिलेगी। लेह-कारगिल की सड़क को पर्यटन हाईवे बनाने से पर्यटकों को आसानी होगी। वह वेबसाइट पर जनसुविधाएं ढूंढ सकेंगे। टॉयलेट की भी ऑनलाइन जानकारी मिलेगी।

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दरअसल, अगस्त 2019 में लद्दाख के केंद्रशासित प्रदेश बनने के बाद मोदी सरकार का फोकस यहां के विकास पर है। स्थानीय लोग केंद्र सरकार से कारगिल में टूरिजम प्रमोशन की मांग कर चुके हैं। लद्दाख के सांसद जामयांग सेरिंग नामग्याल का कहना है कि लोग आज भी कारगिल को 1999 की लड़ाई की रोशनी में देखते हैं, जबकि कारगिल वॉर जोन नहीं बल्कि पीस जोन बन चुका है। यहां पर पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। रूरल टूरिज्म से लेह-लद्दाख और कारगिल में रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।

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कारगिल की तरफ दुनिया का ध्यान खींचने के लिए यहां विंटर स्पोर्ट्स और एडवेंचर टूरिज्म को बढ़ावा देने की कोशिशें केंद्र सरकार की तरफ से चल रहीं हैं। कश्मीर के गुलमर्ग की तरह अब कारगिल में भी इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ स्कीइंग एंड माउंटेनरिंग खोलने की तैयारी है। कारगिल में जमीन की तलाश हो चुकी है। सूत्रों का कहना है कि दो साल के अंदर यहां इंस्टीट्यूट बनकर तैयार हो जाएगा। जिससे स्थानीय और बाहरी युवा साहसिक खेलों की ट्रेनिंग लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में हिस्सा ले सकेंगे।

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