नई दिल्ली: लव जिहाद मामलें पर एनआईए ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि केरल में यह बड़े स्तर पर चल रहा है। 89 मामलों में से 9 मामले सिर्फ उस संस्था के सामने आए है जिससे इस लड़की (हदिया) का भी मामला जुड़ा है। एक तरफ एनआई इस पूरे मामलें को मनोवैज्ञानिक अपहरण का मामला बताते हुए इस असमान्य मामला बता रहा है तो दूसरी तरफ सु्प्रीम कोर्ट ने कहा है कि यह जानना भी बेहद जरूरी है कि आखिर पीडि़त लड़की रहना किसके साथ चाहती है ? (राहुल के VIDEO पर भाजपा ने ली चुटकी, twitter पर लिखा "Pidi लाओ, Congress बचाओ")
बड़ा सवाल आख्रिर लड़की किसके साथ रहना चाहती है ?
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि किसी भी हालत में हमे उस लड़की से जानना होगा कि वो किसके साथ रहना चाहती है। NIA ने इसका विरोध करते हुए कहा कि वो लड़की अभी इस हालत में नही है कि वो ये कोर्ट को अपनी राय बता सके। जिस लड़के से उसकी शादी हुई थी वह अपराधी है और उस पर कई केस चल रहे हैं।
क्या किसी अपराधी से प्यार करना गुनाह है?
एनआईए ने जब यह दलील दी कि जिस लड़के से लड़की की शादी हुई वह अपराधी है और उस पर कई केस भी चल रहे हैं। एनआईए की दलील पर इस पर सुप्रीम कोर्ट ने सवाल करते हुए पूछा कि क्या किसी अपराधी से प्यार करना गुनाह है ?
यह सामान्य मामला नहीं बल्कि मनोवैज्ञानिक अपहरण का मामला है
इसके बाद केंद्र और लड़की के पिता की ओर से जवाब दिया गया कि ये सामान्य मामला नही है, वहां एक पूरा तंत्र काम कर रहा है, जिसमे कई संस्थाएं जुटी हुई है, जहां धार्मिक शिक्षक, मनोवैज्ञानिक, यूथ विंग काम कर रहे है जो कि लोगों को बहला, फुसला कर धर्मांतरण करवाते है। लोगों का मनोवैज्ञानिक अपहरण हो रहा है।
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