तिरुवनंतपुरम। केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने शनिवार को कहा कि प्रख्यात इतिहासकार इरफान हबीब ने भारतीय इतिहास कांग्रेस में उनके उद्घाटन भाषण को बाधित करने की कोशिश की और भिन्न राय को लेकर उनकी “असहिष्णुता अलोकतांत्रिक” थी।
आरिफ मोहम्मद खान ने तस्वीरों के साथ एक के बाद एक किए गए ट्वीट में कहा कि कन्नूर में भारतीय इतिहास कांग्रेस के दौरान मंच और श्रोताओं द्वारा उनके भाषण को बाधित करने के प्रयास किये गए। राज्यपाल ने एक अन्य ट्वीट में कहा कि हबीब ने मौलाना अबुल कलाम आजाद को उद्धृत करने के खान के अधिकार पर सवाल उठाए और चिल्लाते हुए कहा कि उन्हें गोडसे को उद्धृत करना चाहिए।
खान ने कहा कि वह तो केवल पिछले वक्ताओं द्वारा उठाए गए बिंदुओं पर प्रतिक्रिया देकर संविधान की रक्षा के अपने दायित्व को पूरा कर रहे थे। राज्यपाल के कार्यालय ने कहा, “वह तो केवल पिछले वक्ताओं के द्वारा उठाए गए बिंदुओं पर प्रतिक्रिया देकर संविधान की रक्षा के अपने दायित्व को पूरा कर रहे थे। लेकिन दूसरे मत के प्रति असहिष्णुता के कारण मंच और श्रोताओं द्वारा भाषण को बाधित करने की कोशिश अलोकतांत्रिक है।”
राज्यपाल ने इतिहासकार पर अपने एडीसी और सुरक्षा अधिकारी को धक्का देने का भी आरोप लगाया। राज्यपाल ने कहा कि हबीब ने संशोधित नागरिकता कानून को लेकर कुछ मुद्दे उठाए थे। लेकिन जब मैंने उन मुद्दों पर अपनी बात रखनी चाही तो वह मंच पर ही अपनी सीट से उठे और शारीरिक तौर पर मुझे रोकने की कोशिश की। यह वीडियो में पूरी तरह से साफ दिख रहा है।
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