नई दिल्ली। हथियारों के मामले में देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए जो पहल की गई है वह काफी सफल होती नजर आ रही है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बताया है कि रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) की लैब की सहायदा से इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव लिमिटेड कंपनी द्वारा बनाए गए मल्टी मोड हैंड ग्रेनेड (Multi-Mode Hand Grenade) भारतीय सेना को सौंपे जा रहे हैं।
रक्षा मंत्री ने बताया कि मार्च 2021 में इन Multi-Mode Hand Grenade के उत्पादन को सरकार की तरफ से मंजूरी मिली थी और सिर्फ 5 महीने में ही 1 लाख ग्रेनड का उत्पादन किया जा चुका है। ग्रेनेड की विशेषताओं का जिक्र करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा ग्रेनेड न केवल अधिक घातक है बल्कि इस्तेमाल के लिहाज से ज्यादा सुरक्षित और भरोसेमंद है। उन्होंने कहा कि ग्रेनेड की एक्युरेसी 99 प्रतिशत से भी अधिक है।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा है कि दुनिया में अभी तक भारत की पहचान हथियारों के आयातक के तौर पर है लेकिन जल्द ही यह पहचान निर्यातक के तौर पर बनने वाली है। उन्होंने बताया कि, "रक्षा मंत्रालय ने पहली बार, एक बड़ा कदम उठाते हुए, Defence Production और Export Promotion policy 2020 का draft जारी किया है। यह policy 2025 तक, लगभग 1,75,000 करोड़ रुपये के वार्षिक टर्नओवर के लक्ष्य को प्राप्त करने में सहायक होगी।"
हथियारों के मामले में देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए देश में सिर्फ मल्टी मोड हैंड ग्रेनेड का ही उत्पादन नहीं हो रहा है बल्कि कई और हथियार भी बनने लगे हैं। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बताया कि "Multi-Mode Grenade की तरह ही, ‘Arjun-Mark-1’ tank हो, ‘Unmanned Surface Vehicle’ हो, ‘See Through Armour’ हो, या इसी तरह के अनेक products हैं जिनका हमारी industries पूरी तरह स्वदेशी उत्पादन करने लगी है।"
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