नई दिल्ली. वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि 8 करोड़ प्रवासी मजदूरों के राशन के लिए 3500 करोड़ का प्रावधान सरकार करने जा रही है। प्रति व्यक्ति 2 महीने मुफ्त 5-5 किलो चावल और गेहूं और 1 किलो चना प्रत्येक परिवार को दिया जाएगा। इसमें वो प्रवासी मजदूर भी शामिल हैं, जिनके पास राशन कार्ड नहीं है।
उन्होंने कहा कि प्रवासी मजदूर और शहरी गरीबों को राहत पहुंचाने के लिए आपदा राहत फंड के माध्यम से 11000 करोड़ से अधिक की राशि राज्यों को उपलब्ध करवायी गई। आपको बता दें कि प्रवासी मजदूरों पर खर्च होने वाली इस पूरी राशि का भार केंद्र सरकार उठाएगी, हालांकि राज्य सरकारें इसके कार्यान्वयन के लिए उत्तरदायी होंगी।
उन्होंने कहा कि इसके साथ ही राशन कार्ड को ‘पोर्टेबल’ बनाया जाएगा। यानी प्रवासी मजदूर अपने राशन कार्ड का किसी भी राज्य में उपयोग कर सकेंगे। वित्त मंत्री ने कहा कि इससे 23 राज्यों में अगस्त तक 67 करोड़ लाभार्थी या सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के दायरे में आने वाले 83 प्रतिशत लाभार्थी इस सुविधा का लाभ उठा सकेंगे। उन्होंने कहा कि मार्च 2021 तक ‘एक देश, एक राशन कार्ड’ की व्यवस्था’ को पूरी तरह से लागू कर दिया जायेगा।
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