नई दिल्ली: अपनी चुप्पी तोड़ते हुए पूर्व उपराष्ट्रपति एम हामिद अंसारी ने गत दो मई को जिन्ना की तस्वीर को लेकर विश्वविद्यालय परिसर में हंगामा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की एएमयू छात्रों की मांग का शनिवार को समर्थन किया। एएमयू परिसर में हंगामा उस समय हुआ था जब अंसारी एक कार्यक्रम के लिए वहां मौजूद थे। अंसारी ने कहा कि परिसर में घुसे लोगों के खिलाफ शांतिपूर्ण आंदोलन प्रशंसनीय है। उक्त कार्यक्रम में अंसारी को अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय छात्र संघ की आजीवन सदस्यता प्रदान की जानी थी। हालांकि कार्यक्रम दक्षिणपंथी हिंदू कार्यकर्ताओं की कथित हिंसा के चलते रद्द कर दिया गया था।
एएमयू में पढ़ाई कर चुके अंसारी ने कहा कि बाधा डाला जाना , उसका समय तथा ‘‘ उसे सही ठहराने के लिए गढ़ा गया बहाना ’’ सवाल उठाता है। उन्होंने एएमयू छात्र संघ को लिखे एक पत्र में लिखा है कि इसको लेकर ( एएमयू ) छात्रों का शांतिपूर्ण प्रदर्शन प्रशंसनीय है। उन्हें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि यह किसी भी तरह से उनके शैक्षणिक गतिविधियों को प्रभावित नहीं करे। ’’ उन्होंने कहा कि गत दो मई के कार्यक्रम के बारे में सार्वजनिक जानकारी थी जिसमें केनेडी आडिटोरियम में उनका एक संबोधन भी शामिल था।
संबंधित प्राधिकारियों को आधिकारिक रूप से जानकारी दी गई थी और वे ऐसे मौकों पर होने वाली सुरक्षा सहित मानक व्यवस्था से अवगत थे। उन्होंने कहा , ‘‘ इसके मद्देनतर परिसर में घुसे लोगों का विश्वविद्यालय गेस्ट हाउस तक पहुंचना अभी भी रहस्य बना हुआ है जहां मैं ठहरा हुआ था। ’’ पूर्व उपराष्ट्रपति अंसारी ने उन्हें सम्मान देने के लिए एएमयू छात्र संघ और उसके पदाधिकारियों का धन्यवाद किया।
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