जयपुर: राजस्थान की गहलोत सरकार के दौरान कोटा के जेके लोन अस्पताल में एक महीनें में 100 से ज्यादा बच्चों की मौत हो गई। लेकिन, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अभी तक कोटा जाकर अस्पताल का दौरा नहीं किया और न ही पीड़ित परिवारों का हाल जाना। ऐसे में अब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का शुक्रवार का डे प्लान जारी हुआ तो लगा जैसा राज्य सरकार असंवेदनशील हो गई हो। क्योंकि, प्रदेश में लगातार हो रही बच्चों की मौतों के बीच मुख्यमंत्री ने कोटा जाने की जगह, छात्रसंघ कार्यक्रम में फीता काटने और रंगारंग कार्यक्रम में पहुंचने को ज्यादा जरूरी समझा।
Image Source : PTIAshok Gehlot during the inaugural session of State Games
सीएम की मौजूदगी में आतिशबाजी
उन्होंने शुक्रवार को भी जयपुर के सवाई मानसिंह स्टेडियम में बैठकर आतिशबाजी का लुत्फ उठाया। दरअसल, यहां उन्होंने एशियन व राष्ट्रीय खेलों की तर्ज पर राज्य खेलों का उद्घाटन किया। जहां मुख्यमंत्री की मौजूदगी में जमकर आतिशबाजी हुई। राज्य में बच्चों की मौत के मातम के बीच सीएम की मौजूदगी में आतिशबाजी और फिर शुक्रवार के उनके डे प्लान ने सरकार की संवेदनशीलता पर सवाल खड़ा कर दिया।
क्या है सीएम का शुक्रवार का डे प्लान?
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 3 जनवरी को राजकीय वायुयान से सुबह 10 बजे जोधपुर पहुंचेंगे। दोपहर 12 बजे कमला नेहरू महिला महाविद्यालय छात्रसंघ कार्यालय का उद्घाटन करेंगे। दोपहर 1.00 बजे मारवाड़ राजपूत सभा भवन में नव वर्ष स्नेह मिलन समारोह में शामिल होंगे। फिर, 3.00 बजे ओसवाल महिला छात्रावास का शिलान्यास करेंगे। शाम 5.00 बजे 30वें पश्चिमी राजस्थान उद्योग हस्तशिल्प उत्सव और शाम 6.30 बजे रातानाड़ा में म्यूजिकल फाउंटेन एवं सौन्दर्यकरण विकास कार्यों के लोकार्पण कार्यक्रम में शामिल होंगे।
CM's day plan
एक महीने में 100 से ज्यादा बच्चों की मौतें
कोटा के जेके लोन अस्पताल में बच्चों की मौत का सिलसिला थम नहीं रहा है। एक से दो जनवरी की शाम तक अस्पताल में चार और बच्चों की मौत के साथ ही मरने वाले बच्चों की संख्या 103 हो गई। 24 दिसम्बर तक बच्चों की मौत का आंकड़ा 77 था। उसके बाद 25 दिसम्बर से 31 दिसंबर तक सात दिन में 22 बच्चों की मौत हुई और फिर दो जनवरी की शाम तक चार बच्चों की मौत हो गई। इससे मौत का आंकड़ा 103 हो गया।
“शिशुओं की मौत के जरिए CAA से ध्यान हटाने की कोशिश”
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ पूरे देश में जो माहौल बना हुआ है, उससे ध्यान हटाने के लिए इस मुद्दे को उठाया जा रहा है। उन्होंने कहा, ''मैं पहले ही कह चुका हूं कि इस साल शिशुओं की मौत के आंकड़ों में पिछले कुछ सालों की तुलना में काफी कमी आई है।''
Latest India News