भारत में अब कोरोना वैक्सीन के ट्रायल में बच्चे भी होंगे शामिल, सरकार ने दी मंजूरी
अब सरकार ने 12 साल से अधिक उम्र के बच्चों को भी इस क्लीनिकल ट्रायल में शामिल होने की अनुमति दे दी है।
कोरोन संकट से जूझ रहे भारत में दो कोरोना वैक्सीन को इमर्जेंसी उपयोग की अनुमति मिल गई है। अनुमति पाने वाली वैक्सीन में सीरम इंस्टीट्यूट की कोविशील्ड और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन शामिल हैं। हालांकि भारत बायोटेक की कोवैक्सीन का फिलहाल तीसरे चरण का क्लीनिकल ट्रायल चल रहा है। अब इस फेज 3 के ट्रायल से जुड़ी बड़ी जानकारी सामने आई है।
अभी तक कोरोना वैक्सीन का क्लीनिकल ट्रायल वयस्क लोगों यानि कि 18 साल से अधिक उम्र के लोगों पर ही किया जा रहा था। लेकिन अब सरकार ने 12 साल से अधिक उम्र के बच्चों को भी इस क्लीनिकल ट्रायल में शामिल होने की अनुमति दे दी है। सेंट्रल लाइसेंस अथॉरिटी के एक दस्तावेज में स्पष्ट किया गया है कि भारत बायोटेक की कोरोना वैक्सीन के फेज 3 ट्रायल में 12 वर्ष एवं उससे अधिक उम्र के बच्चों को भी शामिल किया जा सकता है। सरकार की ओर से इसकी अनुमति दी जाती है। हालांकि इसके लिए माता बिता की अनुमति और बच्चे की सेहत का ध्यान रखा जाना जरूरी है।
अनुमति में बताया गया है कि 12 साल या फिर इससे अधिक उम्र के बच्चों को कोरोना वैक्सीन की 2 डोज देनी होंगी। इसके लिए समयअवधि 0 से 28 दिन के बीच तय की गई है।
वैक्सीन से जुड़े हर सवाल स्वास्थ्य मंत्रालय ने दिया जवाब
प्रश्न- क्या देश में सभी के लिए कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाना जरूरी होगा?
उत्तर- वैक्सीन का टीका लगवाने के लिए कानूनी वैध्यता नहीं है, अपनी इच्छा के अनुसार टीका लगवाया जा सकता है। हालांकि खुद को सुरक्षित रखने और कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए सलाह दी जाती है कि टीका लगवाएं।
प्रश्न- क्या एक साथ सभी को टीका लगवाया जाएगा?
उत्तर- सबसे पहले हाई रिस्क ग्रुप्स को टीका लगवाया जाएगा, जिसके तहत हेल्थलाइन तथा फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीका लगेगा। उसके बाद 50 वर्ष से ऊपर की आयु के लोगों को टीका लगवाया जाएगा और अंत में सभी के लिए वैक्सीन उपलब्ध कराई जाएगी।
प्रश्न- वैक्सीन को बहुत थोड़े समय में तैयार किया गया है, क्या यह सुरक्षित है?
उत्तर- वैक्सीन को लॉन्च ही तभी किया गया है जब रेग्युलेटरी संस्थाओं ने इसे सुरक्षित और प्रभावकारी माना है।
प्रश्न- क्या कोरोना से ठीक हो चुके व्यक्ति के लिए भी वैक्सीन लेना जरूरी है?
उत्तर- पहले कोई व्यक्ति कोरोना से संक्रमित रहा हो या नहीं, सभी को टीका लगवाने की सलाह दी जाती है क्योंकि वैक्सीन से मजबूत रोग प्रतिरोधी क्षमता उत्पन्न होगी।
प्रश्न- कोरोना से कोई व्यक्ति अभी संक्रमित हो तो क्या उसे भी तुरंत टीका लगेगा?
उत्तर- मौजूदा समय में संक्रमित तुरंत प्रभाव से वैक्सीनेशन केंद्र जाने से बचें क्योंकि इससे संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है, 14 दिन बाद ही टीका लगवाएं
प्रश्न- अलग-अलग वैक्सीन में किसे टीका लगवाने के लिए चुना गया है?
उत्तर- सभी वैक्सीन के क्लीनिकल ट्रायल के बाद आए आंकड़ों और अन्य जानकारी का ड्रग्स कंट्रोलर विश्लेषण किया है और उसी के बाद वैक्सीन के लिए लाइसेंस दिया है, ऐसे में जिन वैक्सीन को लाइसेंस मिल चुका है वे सबी सुरक्षित हैं।
प्रश्न- मैने टीका लगवाने के लिए योग्य हूं या नहीं? कैसे पता चलेगा
उत्तर- वैक्सीन के टीके के लिए योग्य लोगों को रजिस्ट्रेशन के बाद उनके पंजीकृत फोन नंबर से उन्हें सूचित किया जएगा और वैक्सीनेशन के शेड्यूल के बारे में जानकारी दी जाएगी।
प्रश्न- क्या किसी व्यक्ति को बिना रजिस्ट्रेशन भी कोरोना वैक्सीन का टीका लगेगा?
उत्तर- कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाने के लिए पंजीकरण जरूरी है, उसके बिना टीका नहीं लगाया जाएगा।
प्रश्न- वैक्सीन के बाद अगर साइड इफेक्ट हुए तो उनका क्या?
उत्तर- वैक्सीन को तभी लॉन्च किया गया है जब यह सुरक्षित साबित हुई है। लेकिन दूसरी वैक्सीन के बारे में यह भी सत्य है कि कई बार टीका लगने के बाद हल्के बुखार, दर्द जैसे साइड इफेक्ट भी देखने को मिलते हैं। राज्यों को निर्देश दिया गया है कि साइड इफेक्ट की परिस्थिति से निपटने के लिए प्रबंध करें।