बिलासपुर: छत्तीसगढ़ बिलासपुर जिले के कोटा सामुदायिक केंद्र में नसबंदी के बाद 4 पुरुषों की तबीयत बिगड़ गई जिसके बाद उन्हें एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया। जिले के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी बी. बी. बोड़े ने शुक्रवार को बिलासपुर में बताया कि जिले के करगीरोड-कोटा गांव के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में बुधवार को किए गए 14 पुरुषों के नसबंदी ऑपरेशन के बाद 4 पुरुषों की तबीयत बिगड़ गई।
उन्होंने बताया कि मरीजों की हालत को देखते हुए उन्हें कोटा से बिलासपुर भेजा गया। मरीजों को एक निजी अस्पताल साव नर्सिंग होम में भर्ती कराया गया है। स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि डॉक्टर के. के. साव पुरूष नसबंदी मामलों के खास विशेषज्ञ हैं इसलिए पुरुषों को बेहतर इलाज के लिए उनके अस्पताल में भर्ती कराया गया। उन्होंने बताया कि निजी अस्पताल में धर्मेंन्द्र श्रीवास (26 वर्ष), राजकुमार लहरे (32 वर्ष), केशव प्रसाद विश्वकर्मा (34 वर्ष) और प्रमोद साहू (26 वर्ष) को भर्ती कराया गया है। सभी की स्थिति अब सामान्य है।
साव नर्सिंग होम के डॉक्टर के. के. साव ने बताया कि बुधवार रात कोटा से BMO प्रदीप अग्रवाल ने 4 व्यक्तियों को यहां भेजा था और यहां सभी का तत्काल समुचित इलाज किया गया। उन्होंने बताया कि एक व्यक्ति को सूजन की शिकायत थी इसलिए उसका फिर से ऑपरेशन किया गया, चारों की हालत अब सामान्य है और जल्द ही उन्हें छुट्टी दे दी जाएगी। गौरतलब है कि नवंबर 2014 में बिलासपुर के पेंडारी और पेंड्रा गांव में नसबंदी शिविर में 137 महिलाओं का ऑपरेशन हुआ था जिसके बाद 13 महिलाओं की मौत हो गई थी।
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