अयोध्या मामला: वकील ने कहा- नमाज सड़क पर होती है लेकिन इसका मतलब ये नहीं की सड़क मस्जिद बन जाए
अयोध्या भूमि विवाद मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में लगातार जारी है। सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों के वकील अपनी दलीलें जजों की बेंच के सामने रख रहे हैं।
नई दिल्ली: अयोध्या भूमि विवाद मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में लगातार जारी है। सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों के वकील अपनी दलीलें जजों की बेंच के सामने रख रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली 5 सदस्यीय संविधान पीठ इस मामले की सुनवाई कर रही है। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने सितंबर, 2010 के अपने फैसले में अयोध्या में राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद भूमि विवाद में 2.77 एकड़ की विवादित भूमि को ‘राम लला’, निर्मोही अखाड़ा और सुन्नी वक्फ बोर्ड के बीच बराबर-बराबर बांटने का आदेश दिया था। सुप्रीम कोर्ट राजनीतिक दृष्टि से संवेदनशील राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद भूमि विवाद में इलाहाबाद हाई कोर्ट के इसी फैसले के खिलाफ दायर 14 अपीलों पर सुनवाई कर रही है। आइए, जानते हैं इस सुनवाई से जुड़े पल-पल के अपडेट्स के बारे में:
Live updates : Ayodhya Case Hearing Supreme Court Live Updates
- August 16, 2019 1:08 PM (IST)
राजीव धवन ने कहा कि कार्बन डेटिंग सिर्फ उन्हें चीजों की हो सकती है जिनमें कार्बन की मात्रा हो जैसे कि हड्डियों की, न कि ईंटों या धातुओं की। वैद्यनाथन ने कहा कि मूर्ति की कार्बन डेटिंग नहीं हुई थी।
- August 16, 2019 1:07 PM (IST)
वैद्यनाथन ने ASI की रिपोर्ट का ज़िक्र करते हुए कहा कि रिपोर्ट में साफ है कि मंदिर को तोड़कर मस्जिद का निर्माण किया गया था। इस पर जस्टिस बोबडे ने पूछा कि क्या कार्बन डेटिंग की गई थी, जिसके जवाब में वैद्यनाथन ने कहा कि खुदाई में मिले मटिरियल की कार्बन डेटिंग की गई थी। वहीं, मुस्लिम पक्ष के वकील राजीव धवन ने कहा कि कार्बन डेटिंग सिर्फ जैविक चीजों की ही कि जा सकती है, मूर्तियों की नहीं।
- August 16, 2019 1:05 PM (IST)
सड़क पर भी नमाज़ अदा की जा सकती है लेकिन इसका मतलब ये तो नहीं कि वो सड़क एक मस्जिद बन जाए या उसे मस्जिद समझा जाए। यह संरचना सही अर्थों में कभी मस्जिद थी ही नहीं: रामलला विराजमान की तरफ से सी. वैद्यनाथन
- August 16, 2019 1:04 PM (IST)
इलाहाबाद हाई कोर्ट के जस्टिस खान ने भी माना था कि मस्जिद के निर्माण में पहले के बने हुए ढांचे के कुछ हिस्सों का इस्तेमाल हुआ था लेकिन ये इसे अवैध मस्जिद नहीं बनाता। किसी भी मस्जिद पर इस तरह की मूर्तिकला और संरचनाएं नहीं होंगी क्योंकि यह इस्लाम के सिद्धान्तों के खिलाफ है।
- रामलला विराजमान की तरफ से सी. वैद्यनाथन
- August 16, 2019 11:38 AM (IST)
अयोध्या केस में सुनवाई शुरू हुई। रामलला विराजमान की तरफ से सी. वैद्यनाथन अपनी दलीलें पेश कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ''कई ऐसी तस्वीरें हैं जो साफ करती हैं कि मस्जिद के ढांचे पर कई मूर्तिकला और संरचनाएं हैं जो ये दर्शातीं हैं कि वहां एक मन्दिर था। आम तौर पर मस्जिदों के स्तम्भों पर देवताओं की तस्वीरें नहीं होती।'