नई दिल्ली: भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के वैज्ञानिकों ने शुक्रवार को संकेत दिया कि देश के पहले मानवयुक्त अंतरिक्ष मिशन ‘गगनयान’ से जाने वाले अंतरिक्ष यात्री पायलट हो सकते हैं। नाम ना बताने की शर्त पर इसरो के वैज्ञानिक ने कहा, ‘‘हम उड़ान का पर्याप्त अनुभव रखने वाले लोगों की तलाश कर रहे हैं।’’
इसरो के चेयरमैन के. सीवान ने कहा कि मानव अंतरिक्ष मिशन के लिए अंतरिक्ष यात्रियों के चयन में भारतीय वायुसेना और अन्य एजेंसियों की अहम भूमिका होगी। एक अन्य वैज्ञानिक ने कहा कि इस काम में रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन की भी अहम भूमिका होगी।
एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए सीवान ने कहा कि पहले मानवरहित ‘गगनयान’ को दिसंबर 2020 में प्रक्षेपित किए जाने की योजना है। दूसरा मानवरहित यान जुलाई 2021 तक भेजे जाने की उम्मीद है और फिर अंतत: दिसंबर 2021 तक पहला मानवयुक्त गगनयान मिशन पूरा किया जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2022 तक ‘गगनयान’ के माध्यम से तीन अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष में भेजने की घोषणा की थी।
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