नई दिल्ली: प्रमुख दवा कंपनी रोश इंडिया और सिप्ला ने सोमवार को भारत में रोश के एंटीबॉडी कॉकटेल को पेश करने की घोषणा की। ये वही मशहूर दवा है जो अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप को कोरोना होने पर दी गयी थी। इसकी कीमत 59,750 रुपये प्रति खुराक है जो कोविड-19 के अत्यधिक बीमार मरीजों के इलाज के लिए है। हरियाणा के 84 वर्षीय मोहब्बत सिंह देश में कोरोना के पहले मरीज हैं जिन्हें एंटीबॉडी कॉकटेल ड्रग दी गयी हैं।
मेदांता अस्पताल के निदेशक डॉक्टर नरेश त्रेहन के अनुसार, "जब कैसिरिविमैब और इमदेविमाब को कोरोना संक्रमित रोगी में प्रारंभिक अवस्था में इंजेक्ट किया जाता है तो यह वायरस को रोगी की कोशिकाओं में प्रवेश करने से रोकता है। यह कोविड-19 के खिलाफ काम कर रहा है और B.1.617 के खिलाफ भी प्रभावी है। यह एक नया हथियार है।"
उनके के अनुसार, "प्लाज्मा के साथ साथ कोरोना के इलाज में इस्तेमाल हो रही रेमेडिसिविर और टोसिलिजुमैब से ये दवा बिल्कुल अलग है। शोध के अनुसार जिन मरीजों को ये दवा दी गयी उनमें से 80 प्रतिशत को अस्पताल में एडमिट करने की जरुरत नहीं पड़ी। कोरोना के लक्षण के समय को कम करने के साथ साथ ही इसके इस्तेमाल से मृत्यु दर में भी कमी आती है।
वहीं सिप्ला और रोश ने एक संयुक्त बयान में कहा, ‘‘एंटीबॉडी कॉकटेल (कैसिरिविमैब और इमदेविमाब) की पहली खेप भारत में उपलब्ध है, जबकि दूसरी खेप जून के मध्य तक उपलब्ध होगी। कुल मिलाकर इन खुराकों से दो लाख रोगियों का इलाज किया जा सकता है।’’
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