मुंबई। महाराष्ट्र सरकार में मंत्री और मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे में मुंबई में JNU हिंसा के खिलाफ हुए विरोध प्रदर्शन में कश्मीर को लेकर उठाए गए पोस्टर पर बयान दिया है। आदित्य ठाकरे ने कहा हमें यह जानना चाहिए कि महिला ने Free Kashmir लिखा हुआ पोस्टर क्यों उठाया था, उसका इरादा क्या था, अगर यह इरादा कश्मीर को भारत से आजाद करने का था तो वह गलत है। आदित्य ठाकरे ने कहा कि सभी इसका विरोध करेंगे, यहां तक की JNU मामले पर विरोध करने वाले लोग भी इसका समर्थन नहीं करेंगे।
आदित्य ठाकरे के अलावा शिवसेना नेता संजय राउत ने भी Free-Kashmir पोस्टर उठाने वाली लड़की का बचाव किया है और कहा, ‘‘Free-Kashmir का मतलब है, मेरे हिसाब से जिस तरह से वहां इंटरनेट और मोबाइल सेवा बंद है और लोगों के आने जाने में बंधन है उसको फ्री करो। हिंदुस्तान से फ्री करने की भाषा अगर कोई करता है तो इस देश में बर्दास्त नहीं किया जाएगा।”
भारतीय जनता पार्टी ने Free-Kashmir पोस्टर के मुद्दे पर राज्य सरकार पर निशाना साधा और कहा कि ठाकरे सरकार के मंत्री भी इसमें भागीदार थे, भाजपा नेता किरीट सौमेया ने कहा, ‘‘कल गेटवे ऑफ इंडिया पर जेएनयू के नाम पर जो प्रदर्शन हुए हैं उसमें भारत विरोधी और देश विरोधी नारे लगे हैं और इसमें ठाकरे सरकार में मंत्री जीतेंद्र अव्हाड भी भागीदार थे। मैने मुंबई पुलिस के ज्वाइंट कमिश्नर से शिकायत की है और जांच करने के लिए कहा है कि कार्यक्रम को अनुमति थी या नहीं। पुलिस ने जांच का आश्वाशन दिया है।’’
उधर Free-Kashmir का पोस्टर उठाने वाली लड़की ने कहा है कि वह कश्मीर की रहने वाली नहीं है लेकिन कश्मीर के लोगों को इंटरनेट का आधारभूत अधिकार नहीं मिल रहा है और इसी वजह से उसने यह पोस्टर उठाया था। लड़की ने अपना नाम महक प्रभू बताया है और कहा है कि वह एक लेखक है और महाराष्ट्र की रहने वाली है।
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