ओडिशा में ‘फनि’ चक्रवात की चपेट में आने से 40 लोगों की मौत, बड़े पैमाने पर राहत कार्य जारी
ओडिशा में चक्रवाती तूफान ‘फोनी’ की चपेट में आकर मरने वालों की संख्या शनिवार को बढ़कर 40 पर पहुंच गई है।
भुवनेश्वर: ओडिशा में चक्रवाती तूफान ‘फनि’ की चपेट में आकर मरने वालों की संख्या शनिवार को बढ़कर 40 पर पहुंच गई है। राज्य के लगभग 10,000 गांवों और 52 शहरी क्षेत्रों में युद्धस्तर पर राहत एवं पुनर्वास कार्य प्रारंभ कर दिए गए हैं और इस तूफान से करीब एक करोड़ लोग प्रभावित हुए हैं। यह चक्रवाती तूफान अत्यधिक शक्तिशाली माना जा रहा है और तटीय क्षेत्र पुरी में शुक्रवार को टकराया था। माना जा रहा है कि यह चक्रवात ग्रीष्म कालीन चक्रवातों में ‘दुर्लभ से दुर्लभतम’ श्रेणी का है और बीते 43 सालों में पहली बार ओडिशा पहुंचने वाला पहला और बीते 150 सालों में आए तीन सबसे ताकतवर तूफानों में से एक है।
अधिकारियों ने बताया कि 240 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चल रहे इस भीषण चक्रवाती तूफान की वजह से शुक्रवार को पुरी में तेज बारिश और आंधी आई। तूफान के कमजोर पड़ने और पश्चिम बंगाल में प्रवेश करने से पहले इसकी चपेट में आए कस्बों और गांवों में बहुत से घरों की छतें उड़ गईं और कई मकान पूरी तरह से नष्ट हो गए। इससे पहले 1999 में सुपर साइक्लोन आया था जिसकी वजह से दस हजारों लोगों की मौत हो गई थी और एक बहुत बड़े क्षेत्र में विनाशलीला हुई थी।
प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करने के लिए रवाना होने से पहले, ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने एक बयान में कहा कि नागरिक समाज संगठनों, एनडीआरएफ, ओडिशा आपदा त्वरित कार्रवाई बल (ओडीआरएएफ) के कर्मियों और एक लाख अधिकारियों के साथ लगभग 2,000 आपातकालीन कर्मचारी, सामान्य जनजीवन को फिर से बहाल करने के कार्य में लगे हुए हैं। बता दें कि अभी करीब 3 लाख लोग पीने के पानी के लिए संघर्ष कर रहे हैं। वहीं बिजली सेवा शुरू होने में अभी तीन दिन और लग सकते हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक से बात की और तटीय राज्य में चक्रवात आने के बाद की स्थिति पर चर्चा की। पीएम मोदी के ओडिशा का दौरा करने की संभावना है। प्रधानमंत्री ने राज्य सरकार को आश्वासन दिया कि केंद्र की तरफ से राज्य को लगातार सहायता मिलती रहेगी। रेलवे दो ट्रेनों को छोड़कर फोनी चक्रवात के मद्देनजर रोकी गई भुवनेश्वर के लिए सभी रेल सेवाओं को फिर से बहाल कर दिया। अधिकारियों ने कहा कि रेलवे ने ओडिशा में चक्रवात फोनी के टकराने के महज 24 घंटे बाद ही हावड़ा-चेन्नई मुख्यलाइन को साफ कर दिया है।
कोलकाता हवाई अड्डे पर शनिवार सुबह नौ बजकर 57 मिनट पर विमानों का परिचालन बहाल हो गया। सियालदह और हावड़ा स्टेशनों पर ट्रेनों सेवाएं सामान्य हो चुकी हैं। कोलकाता पोर्ट ट्रस्ट (केओपीटी) ने हल्दिया और कोलकाता डॉक पर शनिवार सुबह नियमित परिचालन बहाल कर दिया। वायु सेना ने मानवीय मदद और आपदा राहत के वास्ते शनिवार को हिंडन एयर बेस से भुवनेश्वर के लिए तीन सी-130 जे सुपर हरक्युलिस विमानों को भेजा गया था। वायु सेना के एक प्रवक्ता ने इस बारे में बताया।
विमान में चक्रवात फोनी से प्रभावित स्थानों के लिए दवा सहित करीब 45 टन राहत सामग्री भेजी गई। उन्होंने कहा कि चक्रवात फोनी के बारे में पहली चेतावनी मिलने के बाद से ही वायु सेना अभियान के लिए तैयार थी। जरूरत पड़ने पर तत्काल उड़ान के लिए विमानों को तैयार रखा गया था। वायु सेना का एमआई-17 हेलिकॉप्टर मानवीय सहायता और आपदा राहत अभियान के लिए भुवनेश्वर पहुंचा।
भारतीय तटरक्षक बल ने ओडिशा में चक्रवात ‘फोनी’ के टकराने के बाद तलाश एवं बचाव अभियान के लिए अपने पोत एवं हेलीकॉप्टर तैनात किए हैं। पोत एवं एक हेलीकॉप्टर समुद्र में मछली पकड़ने वाली नौकाओं को तलाश करने के प्रयासों में जुटे हैं। मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि चक्रवात फोनी के कारण ओडिशा में राष्ट्रीय योग्यता सह प्रवेश परीक्षा (नीट), 2019 टाल दी गई है।