दिनभर शरीर में दर्द और अकड़न है फाइब्रोमायल्जिया के लक्षण, स्वामी रामदेव से जानिए मसल्स के इस रोग को दूर करने का कारगर उपाय
फाइब्रोमायल्जिया नाम भले ही आपके लिए नया हो, लेकिन ये बीमारी बिल्कुल भी नई नहीं है। इसमें सुबह उठते ही शरीर में भयंकर दर्द या अकड़न की शिकायत होती है।
सोचिए अगर आप किसी दर्द से गुजर रहे हों, किसी बीमारी के शिकार हों, लेकिन डॉक्टर उसे नकारते रहें। टेस्ट की रिपोर्ट में भी कुछ ना आए। मगर आपकी परेशानी और बीमारी दिन-ब-दिन बढ़ती जाए तो जिंदगी कितनी मुश्किल हो जाएगी। ऐसे लोगों को दुनिया वहमी कहने लगती है और धीरे-धीरे मरीज भी अपनी बीमारी को छिपाने लगता है। एक ऐसी ही बीमारी है- फाइब्रोमायल्जिया।
फाइब्रोमायल्जिया नाम भले ही आपके लिए नया हो, लेकिन ये बीमारी बिल्कुल भी नई नहीं है। क्योंकि देश के करीब 2 करोड़ लोग इसे दिन-रात झेलते हैं। इसमें सुबह उठते ही शरीर में भयंकर दर्द या अकड़न की शिकायत होती है। दिन की शुरुआत करने से पहले करीब 1 घंटे तक अकड़न कम होने का इंतजार करना पड़ता है। पेट के निचले हिस्से में ऐठन होती है। पूरा दिन थकान, मानसिक तनाव और नींद से जुड़ी हुई दिक्कत होती है तो ये फाइब्रोमायल्जिया के लक्षण हो सकते हैं।
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ये बीमारी ज्यादातर महिलाओं में होती है। मसल्स के भयंकर दर्द वाली इस बीमारी की वजह का भले ही पता ना चल पाया हो, लेकिन ये साफ है कि फाइब्रोमायल्जिया धीरे-धीरे मरीज को डिप्रेशन की तरफ ले जाता है। बड़े - बड़े रिसर्च इंस्टीट्यूट ने फाइब्रोमायल्जिया में योग की ताकत को माना है, क्योंकि योग से शरीर का दर्द तो ठीक होता ही है, मरीज मन से भी खुश रहता है। जिंदगी जीने का सही तरीका भी सिखाता है। स्वामी रामदेव का भी यही कहना है कि योग हेल्दी और खुशहाल जिंदगी जीने की कला है।
फाइब्रोमायल्जिया के लक्षण:
- शरीर में भयंकर दर्द
- सिरदर्द
- कमजोरी
- थकान
- नींद ना आना
- स्ट्रेस
दर्द के प्वॉइंट्स:
- सिर के पीछे
- कंधा
- चेस्ट
- कोहनी
- कमर
- घुटना
- गर्दन
योग से बनें निरोग:
- सूर्य नमस्कार
- ताड़ासन
- मंडूकासन
- पश्चिमोत्तानासन
- गोमुखासन
- हलासन
- योग मुद्रासन
- पाद हस्तासन
- यौगिक जॉगिंग
- शशांक आसन
ताड़ासन के फायदे:
- रक्त संचार सही से होता है।
- घुटनों, टखने मजबूत होते हैं।
- दर्द-थकान दूर होता है।
- रोज अभ्यास से लंबाई बढ़ती है।
तिर्यक ताड़ासन के फायदे:
- रोज करने से शरीर लचीला बनता है।
- कमर की चर्बी पूरी तरह से खत्म हो जाती है।
- कद बढ़ाने में मदद मिलती है।
- वजन घटाने में मदद मिलती है।
- मन को शांत रखने में सहायक है।
पादहस्तासन के फायदे:
- सिर में रक्त संचार बढ़ता है।
- फेफड़ों को स्वस्थ बनाता है।
- सांस संबंधी दिक्कत दूर होती है।
- पाचन संबंधी समस्या दूर होती है।
सूर्य नमस्कार के फायदे:
- शरीर को ऊर्जा मिलती है।
- एनर्जी लेवल बढ़ाने में सहायक है।
- वजन बढ़ाने में मददगार है।
- शरीर को डिटॉक्स करता है।
- रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।
- पाचन तंत्र बेहतर होता है।
उष्ट्रासन के फायदे:
- टखने के दर्द को दूर भगाता है।
- मोटापा दूर करने में सहायक है।
- शरीर का पॉश्चर सुधरता है।
- पाचन प्रणाली ठीक होती है।
शशकासन के फायदे:
- डायबिटीज कंट्रोल होती है।
- तनाव और चिंता दूर होती है।
- क्रोध, चिड़चिड़ापन दूर होता है।
- मानसिक रोगों से मुक्ति मिलती है।
- लिवर और किडनी के रोग दूर होते हैं।
भुजंगासन के फायदे:
- किडनी को स्वस्थ बनाता है।
- लिवर से जुड़ी दिक्कत दूर होती है।
- तनाव, चिंता और डिप्रेशन दूर करता है।
- कमर का निचला हिस्सा मजबूत होता है।
- रीढ़ की हड्डी मजबूत होती है।
- छाती चौड़ी होती है।
- फेफड़ों, कंधों और सीने को स्ट्रेच करता है।
शलभासन के फायदे:
- हाथों और कंधों की मजबूती बढ़ाता है।
- शरीर को मजबूत और लचीला बनाता है।
- तंत्रिका तंत्र को मजबूत बनाता है।
मर्कटासन के फायदे:
- रीढ़ की हड्डी लचीली बनती है।
- पेट संबंधी समस्याएं दूर होती हैं।
- एकाग्रता बढ़ती है।
- गुर्दे, अग्नाशय और लीवर सक्रिय होते हैं।
- पीठ का दर्द दूर हो जाता है।
- फेफड़ों के लिए फायदेमंद है।
उत्तान पादासन के फायदे:
- पैरों की मसल्स मजबूत होती हैं।
- पेट से जुड़ी बीमारियां ठीक होती हैं।
- डायबिटीज कंट्रोल होती है।
पवन मुक्तासन के फायदे:
- अस्थमा, साइनस में लाभकारी।
- किडनी को स्वस्थ रखता है।
- ब्लड प्रेशर को सामान्य रखता है।
- पेट की चर्बी को दूर करता है।
- मोटापा कम करने में मददगार है।
- दिल को सेहतमंद रखता है।
- ब्लड सर्कुलेशन ठीक होता है।
- रीढ़ की हड्डी मजबूत होती है।
सूक्ष्म व्यायाम के फायदे:
- शरीर पूरा दिन चुस्त रहता है।
- ऊर्जा और स्फूर्ति का संचार होता है।
- बॉडी को एक्टिव करता है।
- शरीर में थकान नहीं होती है।
- कई तरह के दर्द से राहत मिलती है।
चक्की आसन के फायदे:
- जोड़ों के दर्द से राहत मिलती है।
- पेट कम करने में मददगार है।
- पीठ की अच्छी एक्सरसाइज।
- तनाव कम करने में कारगर है।
प्राणायाम से रहेंगे निरोग:
- अनुलोम विलोम
- कपालभाति
- भस्त्रिका
- भ्रामरी
- उज्जायी
- उद्गीथ
भस्त्रिका के फायदे:
- तनाव और चिंता दूर होती है।
- वजन घटाने में बेहद कारगर है।
- दिल को स्वस्थ रखने में सहायक है।
- अस्थमा के रोग दूर करता है।
- नाक और सीने की समस्या दूर होती है।
अनुलोम विलोम के फायदे:
- बंद नाक खुल जाती है।
- फेफड़ों को ज्यादा ऑक्सीजन मिलती है।
- एलर्जी से हो रहा स्ट्रेस खत्म हो जाता है।
- दिन में दो बार 7-8 मिनट अभ्यास करें।
कपालभाति के फायदे:
- सांस को नाक पर प्रेशर डालते हुए छोड़ा जाता है।
- बंद सांस नली खुल जाती है।
- सांस लेना आसान हो जाता है।
- नर्व मजबूत, शरीर के ब्लड फ्लो में सुधार।
आयुर्वेदिक औषधि:
- गोधन अर्क का सेवन करें।
- गोधन अर्क से बॉडी प्यूरिफाई होती है।
- डायजेशन बेहतर होता है।
- शतावर, सफेद मुसली, अश्वगंधा लें।
- खाना खाने के बाद सेवन करें।
- दूध में हल्दी और शिलाजीत लेना फायदेमंद।
- मीठे की जगह हनी या फिर मधुरम, गुड़, शक्कर लें।
- अंकुरित अनाज का सेवन करें।
दर्द में कारगर:
- हल्दी, मेथी, सौंठ, अश्वगंधा लें।
- खाना खाने के बाद सेवन करें।
- सभी को मिलाकर पाउडर बना लें।
- रोज सुबह 1-1 चम्मच लें।
- वातारि चूर्ण भी ले सकते हैं।