हरियाणा में सीएम को छोड़ पूरा मंत्रिमंडल नया, सभी मंत्रियों के साथ पहली बार काम करेंगे नायब सिंह सैनी
हरियाणा मंत्रिमंडल में नायब सिंह सैनी सभी मंत्रियों के साथ पहली बार काम करेंगे। हालांकि, इसमें कई अनुभवी नेता शामिल हैं।
नायब सिंह सैनी ने लगातार दूसरी बार हरियाणा के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ले ली है। सैनी के साथ 13 मंत्रियों ने भी शपथ ली है। सैनी के मंत्रिमंडल में अनुभवी नेताओं और नए चेहरों का मिश्रण है, लेकिन खास बात यह है कि सैनी सभी के साथ पहली बार काम करेंगे। इनमें से कोई भी नेता उनके पुराने मंत्रिमंडल में शामिल नहीं था।
हरियाणा में लगातार तीसरी बार सत्ता में आने के लिए बीजेपी ने खास रणनीति अपनाई। पहले मनोहर लाल खट्टर को सीएम पद से हटाकर केंद्र में भेजा फिर कई मंत्रियों के टिकट काट दिए और नए चेहरों को मौका दिया। इससे एंटी इनकंबेंसी से निपटने में मदद मिली, लेकिन अब सैनी को नए मंत्रिमंडल के साथ काम करना होगा। यह उनके लिए चुनौतीपूर्ण होगा। हरियाणा भले ही सत्ताधारी पार्टी और मुख्यमंत्री न बदला हो, लेकिन राज्य सरकार पूरी तरह से बदली हुई नजर आ रही है।
सैनी मंत्रिमंडल के अनुभवी चेहरे
अनिल विज: अंबाला कैंट से सातवीं बार विधायक हैं। वह 2014 से 2024 तक राज्य सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे हैं। सैनी के सीएम बनने के बाद भी उन्हें मंत्री बनाया गया था, लेकिन वह नाराज हो गए थे और शपथग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए थे। इससे पहले खट्टर सरकार में मंत्री थे।
किशन लाल पंवार: हरियाणा में बीजेपी के कद्दावर दलित नेता पवार इसराना विधानसभा सीट से छठी बार विधायक बने हैं। वह 2015 से 2019 तक भी वह हरियाणा सरकार में मंत्री रह चुके हैं। खट्टर सरकार में परिवहन, आवास, जेल मंत्री रह चुके हैं।
राव नरबीर सिंह: अहीरवाल मेवात रीजन से आते हैं और हरियाणा में यादव समाज के कद्दावर लीडर हैं। वह बादशाहपुर सीट से विधायक हैं। राव नरबीर पहली बार साल 2014 में बादशाहपुर से जीते थे और मनोहर सरकार में मंत्री बने थे।
विपुल गोयल: 2016 में पहली बार वह खट्टर सरकार में मंत्री बने थे। वैश्य समुदाय से आने वाले गोयल दो बार के विधायक हैं। गोयल बड़े व्यापारी और उद्यमी हैं। 2014 में उन्हें भारतीय जनता पार्टी से टिकट मिला और विधायक बने। 22 जुलाई 2016 में मनोहर लाल सरकार में कैबिनेट मंत्री बने। इस दौरान उन्हें उद्योग और वाणिज्य के साथ अन्य विभागों का चार्ज दिया गया।
कृष्ण बेदी: नरवाना विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। मनोहरलाल सरकार में भी सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री रहे हैं। 57 वर्षीय कृष्ण कुमार बेदी पिछले 20 वर्षों से भाजपा से जुड़े हुए हैं। 2014 में कुरुक्षेत्र के शाहाबाद विधानसभा क्षेत्र से विधायक चुने गए थे।
इन नए चेहरों को मंत्रिमंडल में मिली जगह
गौरव गौतम: नायब सिंह सैनी सरकार में 36 साल के गौरव गौतम सबसे युवा मंत्री हैं। गौतम पलवल से विधायक हैं। वह सैनी मंत्रिमंडल में दूसरे नेता हैं, जो ब्राह्मण समाज से आते हैं। उन्हें युवा मंत्री के रूप में मौका दिया गया है।
राजेश नागर: राजेश नागर को भी पहली बार मंत्रिमंडल में शामिल किया गया है। उन्हें 2019 में भी टिकट मिला था, लेकिन इस बार मंत्रिपद भी मिला है। तिगांव के विधायक राजेश नागर मूल रूप से तिगांव के रहने वाले हैं नागर वर्तमान में भतौला में रहते हैं। राजेश नागर गुर्जर समाज से आते हैं।
आरती राव: नारनौल के अटेली विधायक चुनी गईं आरती राव अंतरराष्ट्रीय शूटिंग खिलाड़ी रही हैं। 2001 और 2012 में शूटिंग वर्ल्ड कप खेलने वाली आरती चार बार की एशियन चैंपियन हैं। उन्होंने 2017 में खेलों से संन्यास ले लिया और राजनीति में शामिल हुईं। 2024 में पहली बार चुनाव लड़ा और जीत हासिल की।
श्रुति चौधरी: पहली बार तोशाम की विधायक बनीं हैं। जून में ही बीजेपी में शामिल हुई थीं। 2005 से राष्ट्रीय कांग्रेस की सदस्य रही हैं। पूर्व कृषिमंत्री चौ सुरेंद्र सिंह और राज्यसभा सांसद किरण चौधरी की बेटी श्रुति कांग्रेस के टिकट पर 2009 से 2014 तक भिवानी-महेंद्रगढ़ से सांसद रहीं। इसके बाद बीजेपी का दामन थाम लिया।