Gujarat News: गुजरात में सुरेंद्रनगर जिले के एक गांव में शुक्रवार को 12 साल की एक बच्ची बोरवेल में जा गिरी और बोरवेल में करीब 60 फुट की गहराई पर फंस गई थी। पाताल के मुंह में फंसी बच्ची को बचाने के लिए पांच घंटे तक रेस्क्यू ऑपरेशन चलता रहा। बड़ी मशक्कत के बाद आखिरकार मासूम को सुरक्षित रूप से बाहर निकाल लिया गया। अधिकारियों ने बताया कि बच्ची की पहचान मनीषा के रूप में की गयी है। वह ध्रांगधरा तालुका के गजनवाव गांव में सुबह साढ़े सात बजे एक बोरवेल में गिर गई थी।
500 से 700 फुट गहरा था बोरवेल
12 साल की एक बच्ची को बोरवेल से निकालने के लिए रेस्क्यू टीम ने करीब 5 घंटे तक अभियान चलाया। एक अधिकारी ने बताया कि ये बोरवेल 500 से 700 फुट गहरा था। ध्रांगधरा (तालुका) की पुलिस निरीक्षक टी बी हिरानी ने बताया, ''लेकिन सेना के जवानों ने स्थानीय स्वास्थ्य और पुलिस कर्मियों की मदद से करीब पांच घंटे की मशक्कत के बाद उसे सुरक्षित रूप से निकाल लिया।'' उन्होंने बताया कि बच्ची 500 से 700 फुट गहरे बोरवेल में करीब 60 फुट की गहराई में फंसी हुई थी। उन्होंने कहा कि बचाव अभियान के दौरान उसे ऑक्सीजन आपूर्ति की गई। कैमरे की मदद से लड़की की स्वास्थ्य की स्थिति निगरानी की जा रही थी। पुलिस अधिकारी ने बताया कि बोरवेल से बाहर निकाले जाने के बाद, बच्ची को ध्रांगधरा स्थित एक अस्पताल ले जाया गया, जहां उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है।
गुजरात से एक महीने में आई दो और घटनाएं सामने
गौरतलब है कि इससे पहले दो जून को दो साल का एक बच्चा ध्रांगधरा के एक खेत में बोरवेल में गिर गया था। उचे बचाने के लिए सेना के जवानों को बुलाया गया था। करीब तीन घंटे की मशक्कत के बाद उसे बोरवेल से बाहर निकाला गया था। वहीं गुजरात के सुरेंद्रनगर जिले में एक खेत में दो साल का बच्चा गहरे बोरवेल में गिर गया था, जिसे करीब 40 मिनट बाद बाहर निकाला गया था। अधिकारियों ने बताया था कि घटना आठ जून की है, जब शिवम दूदापुर गांव के एक खेत में खेल रहा था। उसके माता-पिता उस खेत में मजदूरी करते हैं। ध्रंगध्रा प्रशासन के अधिकारी एम.पी. पटेल ने पत्रकारों को बताया कि बच्चा बोरवेल में गिर गया था और 20-25 फुट की गहराई में जाकर फंस गया था।