ODI वर्ल्ड कप में भारत ने खेले हैं 3 फाइनल मुकाबले, जानिए कैसा रहा प्रदर्शन
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वनडे वर्ल्ड कप 2023 का रण अपने आखिरी चरण में पहुंच चुका है। भारतीय टीम ने न्यूजीलैंड को हराकर फाइनल में जगह बना ली है। टीम इंडिया चौथी बार वनडे वर्ल्ड कप के फाइनल में पहुंची है। इससे पहले भारत ने तीन फाइनल मैच खेले हैं, जिसमें से भारत को दो में जीत मिला है। भारत ने कपिल देव की कप्तानी में 1983 में और महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में 2011 में वर्ल्ड कप की ट्रॉफी जीती थी।
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वनडे वर्ल्ड कप 1983 का खिताब भारत ने वेस्टइंडीज को 43 रन से हराकर जीता था। तब टीम इंडिया की कमान कपिल देव के हाथों में थी। वहीं वेस्टइंडीज के कप्तान क्लाइव लॉयड थे। टीम इंडिया का ये पहला वनडे वर्ल्ड कप का फाइनल मुकाबला था। इस मैच में वेस्टइंडीज के कप्तान लॉयड ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया, जो सही साबित हुआ। भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए वेस्टइंडीज को 183 रनों का टारगेट दिया। भारत के लिए क्रिस श्रीकांत ने सबसे ज्यादा 38 रन बनाए। मोहिंद अमरनाथ ने 26 रन, संदीप पाटिल ने 27 रनों का योगान दिया। बाकी बल्लेबाज कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाए। इससे लग रहा था कि वेस्टइंडीज की टीम आसानी से ये मैच जीत जाएगी, लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था।
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वेस्टइंडीज के खिलाफ भारतीय गेंदबाजों ने दमदार प्रदर्शन किया। बलविंदर संधू ने विंडीज के ओपनर Gordon Greenidge को सिर्फ 1 रन ही बनाने दिया और पवेलियन की राह दिखा दी। वेस्टइंडीज के लिए विवियन रिचर्ड्स ही सबसे ज्यादा 33 रन बनाए। उनके अलावा कोई भी खिलाड़ी विकेट पर टिककर बैटिंग नहीं कर पाया। भारत के लिए मदनलाल और मोहिंद अमरनाथ ने 3-3 विकेट, बलविंदर संधू ने 2 विकेट, रोजर बिन्नी और कपिल देव ने 1-1 विकेट चटकाया और पूरी वेस्टइंडीज टीम 140 रनों पर ऑलआउट हो गई। इस तरह से टीम इंडिया ने मुकाबला 43 रनों से जीत लिया।
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भारत ने वनडे वर्ल्ड कप का दूसरा फाइनल साल 2003 में सौरव गांगुली की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेला। इस मैच में ऑस्ट्रेलिया ने पहले बल्लेबाजी करते हुए भारत को जीतने के लिए 360 रनों का टारगेट दिया। ऑस्ट्रेलिया के लिए रिकी पोंटिंग ने 140 रन और Damien Martyn ने 88 रनों की पारी खेली। बड़े टारगेट का पीछा करने उतरी टीम इंडिया की शुरुआत अच्छी नहीं रही और सचिन तेंदुलकर सिर्फ चार रन बनाकर पवेलियन लौट गए। भारत के लिए वीरेंद्र सहवाग ने 82 रन और राहुल द्रविड़ ने 47 रन बनाए। इन दोनों के अलावा कोई भी बल्लेबाज बड़ी पारी नहीं खेल पाया और पूरी भारतीय टीम 234 रनों पर आउट हो गई और टीम को मुकाबला 125 रनों से गंवाना पड़ा।
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वनडे वर्ल्ड कप में भारत ने तीसरा मुकाबला साल 2011 में श्रीलंका के खिलाफ महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में खेला था। इस मैच में श्रीलंका ने पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम को जीतने के लिए 275 रनों का टारगेट दिया, जिसे टीम इंडिया ने 4 विकेट खोकर आसानी से हासिल कर लिया। श्रीलंका के लिए महेला जयवर्धने ने 103 रनों की पारी खेली। श्रीलंका के खिलाफ भारतीय टीम की शुरुआत बहुत ही खराब रही। जब सचिन तेंदुलकर बिना खाता खोले लासिथ मलिंगा की गेंद पर पवेलियन लौट गए। लेकिन गौतम गंभीर के 97 रन और धोनी के 91 रनों की वजह से टीम इंडिया मैच जीतने में सफल रही। धोनी ने छक्का लगाकर भारत को जीत दिलाई। भारत का ये दूसरा वनडे वर्ल्ड कप खिताब है।
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रोहित शर्मा की कप्तानी में टीम इंडिया वनडे वर्ल्ड कप 2023 में कमाल का प्रदर्शन कर रही है। भारत ने लगातार 10 मैच जीतकर फाइनल में जगह बना ली है। सेमीफाइनल में टीम इंडिया ने न्यूजीलैंड को 70 रनों से पटखनी दी। इस मैच में भारत के लिए विराट कोहली और श्रेयस अय्यर ने शतक लगाए। वहीं मोहम्मद शमी ने 7 विकेट हासिल किए।