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Hindi News Explainers Explainer: लव जिहाद पर योगी सरकार और सख्त, ताउम्र सड़ना पड़ेगा जेल में, बाकी राज्यों से कितना अलग UP का कानून?

Explainer: लव जिहाद पर योगी सरकार और सख्त, ताउम्र सड़ना पड़ेगा जेल में, बाकी राज्यों से कितना अलग UP का कानून?

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार जबरन धर्मांतरण करने वालों के खिलाफ और भी ज्यादा सख्त हो गई है। इसको लेकर यूपी विधानसभा में एक संशोधित बिल पारित किया गया है। लव जिहाद के मामले में दोषी पाए जाने वाला शख्स अब ताउम्र सलाखों के पीछे पड़ा रहेगा।

लव जिहाद को लेकर योगी सरकार सख्त- India TV Hindi Image Source : FILE PHOTO लव जिहाद को लेकर योगी सरकार सख्त

केंद्र में मोदी और राज्य में योगी, ये दोनों ही नेता अपने सख्त निर्णय लेने के लिए जाने जाते हैं। केंद्र की मोदी सरकार ने कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटा दिया। साथ ही तीन तलाक जैसे प्रथा को भी खत्म कर दिया। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी पीएम मोदी की तरह बोल्ड डिसीजन लेने में माहिर हैं। 2024 के मानूसन सत्र शुरू होने के दो दिन के अंदर ही सीएम योगी ने विधानसभा से एक ऐसा संशोधित बिल पारित कर दिया। जो अब सियासी गलियारों से लेकर चौक-चौराहों और हर धर्म के लोगों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है। ये एक ऐसा बिल है, जिसमें दोषी पाए जाने वाले शख्स को ताउम्र जेल की सलाखों के पीछे सड़ना पड़ेगा। 

योगी सरकार ने पुराने कानून को किया और भी ज्यादा सख्त

जी हां! उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 'लव जिहाद' को रोकने वाले पुराने कानून को और भी ज्यादा सख्त कर दिया है। योगी सरकार के इस नए कानून में दोषी शख्स को उम्रकैद तक की सजा दी जाएगी। साथ ही नए कानून में जुर्माने की रकम को भी बढ़ाकर दोगुना कर दिया गया है। सीएम योगी ने मॉनसून सत्र में मंगलवार को पुराने कानून को और ज्यादा सख्त करने वाला 'प्रोहिबिशन ऑफ अनलॉफुल कन्वर्जन ऑफ रिलीजन (अमेंडमेंट) बिल 2024' विधानसभा से पारित किया है। यहां ये जानना बेहद जरूरी है कि उत्तर प्रदेश में 2020 से जबरन धर्मांतरण को रोकने के लिए कानून है। योगी सरकार ने चार साल बाद इसमें फिर संशोधन कर नया बिल पेश कर इसे और सख्त बनाया है।

जानिए लव जिहाद कानून में क्या है सजा का प्रावधान?

इस संशोधित कानून के उत्तर प्रदेश विधानसभा से पारित होने के बाद अब धर्मपरिवर्तन यानी 'लव जिहाद' से जुड़े मामलों को लेकर पुलिस प्रशासन और भी ज्यादा सख्त हो गया है। ऐसे में जानना बेहद जरूरी है कि लव जिहाद को लेकर इस नए संशोधित कानून में ऐसा क्या है?

उम्र भर की हो सकती है जेल

अगर कोई शख्स डरा-धमकाकर, लालच देकर, शादी कर या शादी का वादा कर किसी महिला, नाबालिग या किसी भी व्यक्ति का धर्म परिवर्तन करता है या ऐसी कोशिश करता है तो इसे गंभीर अपराध माना जाएगा। संशोधित कानून में ऐसे मामलों में 20 साल जेल या उम्र भर जेल का प्रावधान किया गया है।

50 हजार रुपये का जुर्माना

पहले किसी महिला को धोखा देकर और उसका धर्मांतरण कर उससे शादी करने के दोषी पाए जाने वाले के लिए अधिकतम 10 साल तक की सजा एवं 50,000 रुपये के जुर्माने का प्रावधान था। वहीं, अब इस संशोधित अधिनियम में छल-कपट या जबर्दस्‍ती कराए गए धर्मांतरण के मामलों में कानून को पहले से सख्त बनाते हुए अधिकतम आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है। 

Image Source : India TVलव जिहाद को लेकर सरकारें सख्त

पीड़िता का उठाना पड़ेगा डॉक्टरी खर्च

साथ ही इसमें जुर्माने की राशि पीड़ित के डॉक्टरी खर्च को पूरा करने और उसके पुनर्वास व्यय पर आधारित होगी। कोर्ट धर्म संपरिवर्तन के पीड़ित के लिए मुआवजा भी स्वीकृत करेगा, जो अधिकतम 5 लाख रुपये तक हो सकता है और यह जुर्माना के अतिरिक्त होगा। इसका भुगतान दोषी व्यक्ति ही भरेगा। 

10 लाख रुपये का जुर्माना

अगर कोई विदेशी अथवा गैर कानूनी संस्थाओं से धन प्राप्त करेगा। उसे सात साल से 14 साल तक की कठोर कैद हो सकती है। इसमें 10 लाख रुपये जुर्माने का भी प्रावधान किया गया है। संशोधित प्रावधान के तहत यह व्यवस्था दी गई है कि धर्मांतरण मामलों में अब कोई भी व्‍यक्ति एफआईआर दर्ज करा सकता है। 

इन राज्यों में भी जबरन धर्मांतरण को लेकर कानून

  • उत्तर प्रदेश के अलावा देश के अलग-अलग राज्यों में जबरन धर्मांतरण के खिलाफ कानून पास किए गए हैं। ये सभी कानून राज्य सरकारों ने अपने स्तर से पास किए हैं। 
  • हरियाणा में 2022 में ये कानून विधानसभा में पारित किया गया है।
  • हिमाचल प्रदेश में 2022 ये जबरन धर्मांतरण को लेकर कानून विधानसभा के अंदर लाया गया है।
  • उत्तराखंड सरकार 2018 में ही जबरन धर्मांतर को रोकने के लिए कानून लेकर आई थी।
  • मध्य प्रदेश की तत्कालीन शिवराज सरकार 2020 में इसके खिलाफ कानून लाई थी।
  • गुजरात सरकार जबरन धर्मांतरण के खिलाफ 2021 में कानून लेकर आई।
  • कर्नाटक सरकार 2021 में लव जिहाद को लेकर कानून लेकर आई।
  • झारखंड में 2017 में इसको लेकर कानून बनाया गया।
  • ओडिशा में 1967 में ही इस तरह की घटनाओं को कम करने और लगाम लगाने के लिए कानून लाया गया था।
  • छत्तीसगढ़ में 2006 जबरन धर्मांतरण को लेकर कानून लया गाया।

Image Source : FILE PHOTOलव जिहाद के दोषी को जाना होगा जेल

मध्य प्रदेश में इस कानून को लेकर क्या है प्रावधान?

मध्य प्रदेश सरकार 2020 में जबरन धर्मांतरण को लेकर सख्त कानून लाई थी। इसमें बहला-फुसलाकर, धमकी देकर जबरदस्ती धर्मांतरण और शादी करने पर 10 साल की सजा का प्रावधान किया गया है। दोषी व्यक्ति के खिलाफ गैर जमानती अपराध होगा। साथ ही इसमें कहा गया कि धर्मांतरण और धर्मांतरण के बाद होने वाले शादी के 2 महीने पहले डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट को धर्मांतरण और विवाह करने और करवाने वाले दोनों पक्षों को लिखित में आवेदन देना होगा। बगैर आवेदन दिए धर्मांतरण करवाने वाले धर्मगुरु, काजी, मौलवी या पादरी को भी 5 साल तक की सजा का प्रावधान है।

हरियाणा में जुर्माने के लिए 3 लाख रुपये तक देनी होगी रकम

हरियाणा में भी लव जिहाद को लेकर कई तरह की सख्त पाबंदियां लगाई गई हैं। हरियाणा में गैरकानूनी धर्म परिवर्तन रोकथाम नियम, 2022 विधानसभा में पारित किया गया। इसमें जबरन धर्मांतरण को लेकर कई सख्त पाबंदियां है। इसमें बताया गया कि गलत बयानबाजी, बल प्रयोग, धमकी, जबरदस्ती, प्रलोभन या किसी धोखाधड़ी के माध्यम से विवाह करना जबरन धर्मांतरण कानून के तहत ही आएगा। ऐसे में दोषी व्यक्ति को 1 से 5 साल की कैद और 1 लाख रुपये से कम के जुर्माने का प्रावधान है। सरकार के इस कानून में कहा गया है कि शादी करने के इरादे से अपने धर्म को छिपाने वाले को कम से कम 3 साल की कैद की सजा दी जाएगी, जिसे 10 साल तक बढ़ाया जा सकता है और कम से कम 3 लाख रुपये का जुर्माना देना होगा।