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Hindi News Explainers Explainer: डोनाल्ड ट्रंप की कोर टीम में किन लोगों को मिलेगी जगह? इन 5 खास नाम पर क्यों हो रही चर्चा

Explainer: डोनाल्ड ट्रंप की कोर टीम में किन लोगों को मिलेगी जगह? इन 5 खास नाम पर क्यों हो रही चर्चा

अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में डोनाल्ड ट्रंप की जीत के बाद अब जल्द ही नई सरकार का गठन होगा। चुनाव में जीत के बाद अब इस बात पर चर्चाएं जोरों पर हैं कि डोनाल्ड ट्रंप की खास टीम में किन लोगों को जगह मिलेगी।

अमेरिका के...- India TV Hindi Image Source : PTI अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप।

अमेरिका की सत्ता में ऐतिहासिक रूप से डोनाल्ड ट्रंप की वापसी हो चुकी है। 5 नवंबर को हुए अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में पूर्व राष्ट्रपति और रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप ने डेमोक्रेट पार्टी की उम्मीदवार और वर्तमान उपराष्ट्रपति कमला हैरिस को भारी अंतर से हरा दिया है। ट्रंप की इस जीत की गूंज पूरी दुनिया में इसलिए हो रही है क्योंकि वह अमेरिका के प्रशासन, पॉलिसी समेत विभिन्न क्षेत्रों में व्यापक बदलाव करने के वादे के साथ सत्ता में लौटे हैं। ट्रंप की जीत के बाद से अब इस बात पर चर्चा तेज हो गई है कि उनकी सरकार की टीम में किन लोगों को जगह मिलेगी। टीम ट्रंप के लिए 5 नामों पर सबसे ज्यादा चर्चा हो रही है।

आइए जानते हैं कि डोनाल्ड ट्रंप के नेतृत्व वाली अमेरिकी सरकार में सबसे प्रमुख स्थान कौन से नेताओं को दिया जा सकता है।

Image Source : Reutersकारोबारी एलन मस्क।

एलन मस्क

डोनाल्ड ट्रंप के नेतृत्व वाली अमेरिकी सरकार में शामिल होने वाले लोगों में एलन मस्क का नाम सबसे आगे चल रहे हैं। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X के मालिक, टेस्ला समेत कई अन्य कंपनियों को हैंडल करने वाले दुनिया के सबसे अमीर कारोबारी एलन मस्क ने राष्ट्रपति चुनाव में डोनाल्ड ट्रंप का जमकर समर्थन किया। उन्होंने ट्रंप को फंडिंग की और उनके लिए रैलियों में भी भाग लिया। ट्रंप ने बुधवार को अपनी विक्ट्री स्पीच में ऐलान कर दिया है कि एलन मस्क व्हाइट हाउस में उनके सहयोगी होंगे। ट्रंप ने मस्क को लेकर कहा कि एक सितारे का जन्म हुआ है। मस्क को ट्रंप सरकार में सरकारी खर्च में कटौती करने में एक आधिकारिक भूमिका मिल सकती है। माना जा रहा है कि कई सरकारी अधिकारियों की नौकरी भी जा सकती है।

Image Source : Reutersविवेक रामास्वामी।

विवेक रामास्वामी

बहुत कम ही ऐसा देखने को मिलता है कि किसी उम्मीदवार ने राष्ट्रपति चुनाव लड़ने के लिए दावा किया हो और उसे हारने के बाद वह और ज्यादा प्रसिद्ध हो गया है। ऐसा कुछ विवेक रामास्वामी के साथ देखने को मिला। अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के कैंपेन में अमेरिका में बड़ी संख्या में लोग विवेक के बोलने की शैली और उनकी नीतियों से प्रभावित दिखे। रिपब्लिकन पार्टी में राष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवारी के समय ट्रंप ने उनका कुछ विरोध तो किया लेकिन उसके बाद विवेक पूरे चुनाव में ट्रंप के साथ दिखे। विवेक रामास्वामी को युवाओं को भी ट्रंप के साथ लाने का क्रेडिट दिया जा रहा है। वह चुनाव के पिछली रात तक अमेरिका के विभिन्न हिस्सों में ट्रंप के लिए प्रचार करते हुए दिखाई दिए। ऐसे में माना जा रहा है कि ट्रंप की टीम में विवेक रामास्वामी को भी बड़ी जगह मिले।

Image Source : Reutersतुलसी गबार्ड।

तुलसी गबार्ड

डोनाल्ड ट्रंप के चुनाव प्रचार अभियान में तुलसी गबार्ड सबसे प्रमुख महिला चेहरों में से एक रही हैं। तुलसी अमेरिकी कांग्रेस की पहली हिंदू महिला सांसद हैं। वह डेमोक्रेट पार्टी में रह चुकी हैं और कमला हैरिस की काफी विरोधी रही हैं। तुलसी ने 2019 में राष्ट्रपति चुनाव की दावेदारी के लिए हुए बहस में कमला को शिकस्त भी दी थी। हालांकि, उन्होंने आगे चलकर 2022 में डेमोक्रेट पार्टी को अलविदा कह दिया। 43 साल की तुलसी गबार्ड ने डोनाल्ड ट्रंप की एक बड़ी चुनावी रैली में आधिकारिक रूप से रिपब्लिकन पार्टी में शामिल होने का ऐलान किया था। तुलसी ने कहा था कि वह अमेरिका के भविष्य के लिए सही दिशा में काम करना चाहती हैं।

Image Source : Reutersरॉबर्ट एफ कैनेडी जूनियर।

रॉबर्ट एफ केनेडी जूनियर

रॉबर्ट एफ कैनेडी जूनियर ट्रंप को राष्ट्रपति पद पर पहुंचाने वाली टीम के सबसे प्रमुख चेहरों में से एक हैं। वह कुछ ही समय पहले तक डेमोक्रेट पार्टी के प्रमुख नेताओं में से एक थे लेकिन वह चुनाव के वक्त ट्रंप के समर्थन में आ गए। कैनेडी ने पहले से ही दावा किया है कि वह ट्रंप सरकार का हिस्सा होंगे। बता दें कि रॉबर्ट एफ कैनेडी जूनियर पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति जॉन एफ कैनेडी के भतीजे हैं। जॉन एफ कैनेडी 1963 में राष्ट्रपति रहते हुए ही हत्या कर दी गई थी। 69 साल के रॉबर्ट एफ कैनेडी जूनियर की पहचान अमेरिका में वैक्सीन विरोधी और हेल्थ एक्टिविस्ट के तौर पर है। कैनेडी के अनुसार, नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उन्हें तीन काम सौंपे हैं। पहला-स्वास्थ्य एजेंसियों के भीतर भ्रष्टाचार को खत्म करना। दूसरा- साक्ष्य आधारित विज्ञान की वापसी जो पिछले दशकों में अमेरिकी स्वास्थ्य नीति की पहचान थी। और तीसरा- अमेरिका में विशेष रूप से बच्चों में पुरानी बीमारी के बढ़ते संकट से निपटना।

Image Source : Reutersमाइक पॉम्पियो।

माइक पॉम्पियो

नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सबसे करीबी नेताओं में माइक पॉम्पियो का नाम भी शामिल है। डोनाल्ड ट्रंप के 2016 से 2020 तक के राष्ट्रपति कार्यकाल में भी माइक पॉम्पियो को बड़ा पद दिया गया था। माइक पॉम्पियो उन कुछ नेताओं में थे जिन्हें ट्रंप का करीबी माना जाता रहा है। CIA के  पूर्व निदेशक और अमेरिका के पूर्व विदेश मंत्री माइक पॉम्पियो का रेस ट्रंप की सरकार में संभावित माना जा रहा है। इस बात की भी चर्चा है कि माइक पॉम्पियो को रक्षा सचिव का पद दिया जाए।

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