मुंबई: देशभर में महिलाओ और बच्चियों के साथ बढ़ती वारदातों को देखते हुए अब फिल्मी सितारों ने भी आवाज उठानी शुरु कर दी है। जहां एक ओर सभी फिल्मी हस्तियां 8 साल की बच्ची को न्याय दिलाने के लिए सड़कों पर उतर आई हैं वहीं दूसरी ओर दिग्गज अभिनेत्री शबाना आजमी का कहना है कि सरकार की 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' योजना के प्रभावी बनने के लिए हमारी बेटियों का जिंदा रहना जरूरी है। शबाना ने यह विचार अनु और शशि रंजन द्वारा आयोजित 20वें बेटी एफएलओ ग्रेट अवार्ड्स-2018 में व्यक्त किए। वह अभिनेता जितेंद्र, अमित साध, अभिनेत्री भूमि पेडनेकर, हुमा कुरैशी, गायक अनूप जलोटा और अमृता फडणवीस के साथ सोमवार रात समारोह में शामिल हुईं।
जम्मू-कश्मीर के कठुआ में 8 वर्षीय बच्ची को अगवा कर उसके साथ दुष्कर्म करने के बाद उसकी नृशंस हत्या करने की घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए शबाना ने कहा, "हमारा देश एक ही समय में कई सदियों में रह रहा है। हम 18वीं, 19वी, 20वीं और 21वीं सदी में एक ही समय में रह रहे हैं और इसका अनुभव हम देश में महिलाओं के साथ हो रहे व्यवहार में कर रहे हैं।"
अभिनेत्री ने कहा, "हमारी महिलाओं ने अपने संबंधित करियर में बड़ी उपलब्धियां हासिल की हैं और नेतृत्वकर्ता बनी हैं, लेकिन दूसरी ओर हम ऐसी खबरें पढ़ते और देखते हैं, जिसे बयान करने के लिए मेरे पास शब्द नहीं है। हम सबको एकजुट होना चाहिए और सुनिश्चित करना चाहिए कि इस तरह की घटनाएं नहीं हों।" उन्होंने कहा, "हम हमेशा कहते हैं 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' और हमें इस बारे में काम करना चाहिए, लेकिन इसके लिए, सबसे पहले हमारी बेटियों का जिंदा रहना जरूरी है।" अभिनेत्री हुमा कुरैशी ने इस मामले में प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह एक दुखद और दहलाने देने वाली घटना है। इस घटना के जिम्मेदार लोगों को सजा मिलनी चाहिए। अगर हम समाज के रूप में एक 8 साल की बच्ची की सुरक्षा करने में सक्षम नहीं हैं, तो फिर यह बेहद शर्मनाक बात है।
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