मुंबई: फिल्म ‘उड़ता पंजाब’ पर चल रहे सेंसरशिप विवाद के बीच फिल्म निर्माता रोहित शेट्टी को लगता है कि फिल्म इंडस्ट्री को एक साथ मिलकर सेंसर बोर्ड के खिलाफ खड़ा होना चाहिए। गौरतलब है कि सेंसर बोर्ड द्वारा फिल्म में कई बदलावों की सिफारिश किए जाने के बाद विवाद में आए अभिषेक चौबे द्वारा निर्देशित ‘उड़ता पंजाब’ का इंडस्ट्री के ज्यादातर लोग समर्थन कर रहे हैं।
रोहित का कहना है कि फिल्म में जितने पैसे लगे हुए हैं, उसे देखते हुए वह समझ सकते हैं कि निर्माताओं की स्थिति क्या होगी। उन्होंने कहा कि मुझे चिंता है कि जब आप निर्माता निर्देशक के रूप में फिल्में बनाते हैं तो बहुत पैसे खर्च होते हैं। बहुत सारे लोगों की मेहनत लगी होती है। उनपर क्या गुजर रही होगी, सिर्फ वही जानते हैं।
निहलानी ने 13 कट के साथ दी फिल्म को मंजूरी
CBFC के अध्यक्ष पहलाज निहलानी ने कहा कि, सेंसर बोर्ड ने फिल्म 'उड़ता पंजाब' को 13 कट के साथ A श्रेणी में मंजूरी दे दी है। यह फिल्म पंजाब के युवाओं में मादक पदार्थ की लत को लेकर बनाई गई है।
निहलानी ने एक कार्यक्रम में कहा, 13 कट के बाद हमने उड़ता पंजाब को A (एडल्ट) श्रेणी में मंजूरी दे दी। बड़ी संख्या में फिल्म के दृश्य काटे जाने की सलाह देने के कारण आलोचनाओं का शिकार हुए निहलानी ने कहा कि CBFC के नौ सदस्यों ने फिल्म देखी और 13 कट के बाद सर्वसम्मति से इसे मंजूरी दे दी गई।
निहलानी ने कहा, ‘CBFC का काम अब खत्म हो गया है। अब अदालत या न्यायाधिकरण जाना निर्माता पर निर्भर करता है। हम आदेश क्रियान्वित करेंगे। अभिषेक चौबे द्वारा निर्देशित फिल्म अनुमानत: 17 जून को रिलीज होगी। इस बीच, एक सवाल के जवाब में निहलानी ने कहा, जो लोग मुझे घटिया कहते हैं, वे स्वयं घटिया हैं। निहलानी ने स्पष्ट किया कि उन्होंने कभी भी खुद को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का चमचा नहीं कहा।
इस पूरे विवाद पर अभिनेता विवेक ओबरॉय का का कहना है सेंसर बोर्ड का काम सिर्फ प्रमाणपत्र जारी करना होना चाहिए।
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