मुंबई: राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता बॉलीवुड अभिनेत्री कल्कि कोचलिन अब तक के अपने फिल्मी करियर में कई शानदार और चुनौतिपूर्ण किरदारों को बखूबी पर्दे पर उतार चुकी हैं। कल्कि ने हमेशा ही बेहतरीन अभिनय से दर्शकों और समीक्षकों से सराहना हासिल की है। कल्कि का कहना है कि हिंदी फिल्म जगत में कई बार उन्हें एक जैसे किरदार निभाने के प्रस्ताव मिलते रहे हैं, लेकिन उनका कहना है कि कोई कलाकार ही रूढ़ होती अपनी छवि को तोड़ सकता है।
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कल्कि ने कहा कि अपने किरदारों के लिए बनी स्थिर सोच को एक कलाकार ही सही पटकथा का चयन कर बदल सकता है। फिल्मजगत में कई कलाकारों को कुछ फिल्मों में निभाए एक जैसे किरादारों के लिए एक कुछ वर्गों में विभाजित कर दिया जाता है और उनकी भूमिकाओं को लेकर लोगों की सोच स्थिर हो जाती है।
इस सोच को बदलने के बारे में अभिनेत्री ने एक इंटरव्यू के दौरान कहा, "मुझे हमेशा एक जैसे किरदारों के प्रस्ताव मिलते रहे हैं। 'देव डी' के बाद मुझे ऐसे ही कई किरदारों की पेशकश आई और ऐसा ही कुछ मेरे साथ 'जिंदगी न मिलेगी दोबारा' और 'मर्गरीटा विद ए स्ट्रॉ' के बाद हुआ।"
कल्कि ने कहा, "ऐसे में मेरा मानना है कि यह मेरा काम है कि सही पटकथा का चयन कर मैं अपनी छवि बदलूं।" कल्कि को जल्द ही निकोलस खार्कोनगोर की आगामी फिल्म 'मंत्रा' में रजत कपूर, शिव पंडित और लुशिन दुबे के साथ मुख्य भूमिका में देखा जाएगा। किरदारों के बारे में कल्कि ने कहा, "मैं जब देखती हूं कि यह किरदार मजबूत और संवेदनशील है, तो मेरे लिए यह अधिक रोमांचक होता है।"
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