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Hindi News लोकसभा चुनाव 2024 इलेक्‍शन न्‍यूज गुजरात विधानसभा चुनाव 2022: वर्ष 2012 से विरामगाम पर है कांग्रेस का कब्जा, अबकी बार भाजपा की तरफ से हार्दिक पटेल ठोंक रहे ताल

गुजरात विधानसभा चुनाव 2022: वर्ष 2012 से विरामगाम पर है कांग्रेस का कब्जा, अबकी बार भाजपा की तरफ से हार्दिक पटेल ठोंक रहे ताल

Gujrat Vidhansabha Chunav 2022: गुजरात में विधानसभा चुनावों के लिए अब मतदान की तारीख धीरे-धीरे नजदीक आ रही है। गुजरात की विरामगाम सीट पर 5 दिसंबर को वोट डाले जाएंगे। जबकि नतीजे 8 दिसंबर को आने हैं। ऐसे में सभी पार्टियों ने अपनी पूरी ताकत झोंकना शुरू कर दिया है।

गुजरात विधानसभा चुनाव 2022- India TV Hindi Image Source : INDIA TV गुजरात विधानसभा चुनाव 2022

Gujrat Vidhansabha Chunav 2022: गुजरात में विधानसभा चुनावों के लिए अब मतदान की तारीख धीरे-धीरे नजदीक आ रही है। गुजरात की विरामगाम सीट पर 5 दिसंबर को वोट डाले जाएंगे। जबकि नतीजे 8 दिसंबर को आने हैं। ऐसे में सभी पार्टियों ने अपनी पूरी ताकत झोंकना शुरू कर दिया है। भाजपा और कांग्रेस जहां पारंपरिक प्रतिद्वंदी हैं तो वहीं इस बार आम आदमी पार्टी भी ताल ठोंक रही है। मगर विरामगाम सीट पर वर्ष 2012 से लगातार कांग्रेस का कब्जा है। वर्ष 2017 में भाजपा को इस सीट पर 6548 वोटों से शिकस्त मिली थी। मगर वर्ष 2022 विधानसभा चुनाव में भी इस सीट पर दिलचस्प मुकाबला देखने को मिल सकता है।

इस विधानसभा सीट से अबकी बार भाजपा ने अपना पुराना प्रत्याशी बदल दिया है। भाजपा ने इस सीट से युवा नेता हार्दिक पटेल को प्रत्याशी बनाया है। तो वहीं कांग्रेस ने अपने मौजूदा विधायक लाखाभाई भीखाभाई भरवाड़ को दूसरी बार मौका दिया है। जबकि आप की ओर से कुवर जी ठाकोर किस्मत आजमा रहे हैं। वर्ष 2017 में कांग्रेस के लाखाभाई भीखाभाई भरवाड़ ने भाजपा के डा. तेजश्रीबेन दिलीपकुमार पटेल को 6548 वोटों से हराया था। यह विधानसभा सीट सुरेंद्रनगर संसदीय क्षेत्र में आती है। भाजपा के डा. महेंद्रभाई मुंजपारा यहां से लोकसभा सदस्य हैं। उन्होंने कांग्रेस के सोमाभाई पटेल को 2 लाख 77 हजार से अधिक मतों से हराया था।

इस बार कांग्रेस के लिए बड़ी चुनौती बने पटेल

विरामगाम  विधानसभा सीट पर कांग्रेस का 2012 से लगातार कब्जा बना हुआ है। वर्ष 2022 में भाजपा के युवा नेता हार्दिक पटेल को चुनौती दे रहे कांग्रेस नेता और मौजूदा विधायक लाखाभाई भीखाभाई भरवाड़ हैं। वह 2017 में भाजपा को इस सीट से मात दे चुके हैं। जबकि 2012 में भी कांग्रेस को यहां से जीत मिली थी। तब कांग्रेस में रहे डा. तेजश्रीबेन दिलीपकुमार पटेल ने भाजपा के प्रगजीभाई नरनभाई पटेल को करीब 17 हजार मतों से हराया था। मगर 2017 में वह भाजपा में शामिल हो गए थे, जहां उन्हें कांग्रेस से हार का सामान करना पड़ा। मगर इस बार हार्दिक पटेल के उतरने से विरामगाम का मुकाबला बेहद दिलचस्प हो गया है। कांग्रेस के पास जहां अपनी सीट को बचाने की चुनौती है तो वहीं भाजपा इस सीट पर 10 वर्षों से काबिज कांग्रेस को बेदखल करना चाहती है। आम आदमी पार्टी भी यहां चुनाव में उतर कर अपना आकलन कर रही है।