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Gujarat Election 2022: किस ओर रहेगा मुस्लिम वोटर्स का रुझान? चौंका देंगे पिछले चुनाव के आंकड़े

राज्य की 182 विधानसभा सीटों में 25 सीटें ऐसी हैं जहां मुस्लिम मतदाता किसी भी राजनीतिक पार्टी का गणित बनाने और बिगाड़ने का कूवत रखते हैं। पिछले विधानसभा चुनाव की बात करें तब बीजेपी ने एक दर्जन से ज्यादा मुस्लिम बाहुल्य सीटों पर जीत का परचम लहराया था।

मुस्लिम वोटर्स- India TV Hindi Image Source : PTI मुस्लिम वोटर्स

Gujarat Election 2022: बीजेपी ने गुजरात में इस बार अब तक का सबसे बड़ा टारगेट रखा है। बीजेपी की टॉप लीडरशीप गुजरात चुनाव में करीब 50 परसेंट वोट पाना चाहती है। ये तभी संभव है जब मुसलमान वोटर भी बीजेपी की तरफ आएं। गुजरात के 4 करोड़ 90 लाख वोटर्स में से करीब 48 लाख मुस्लिम वोटर्स हैं जिनपर सबकी नज़र है। इनमें से ज़्यादातर मुस्लिम वोटर्स शहरी इलाकों में रहते हैं और ग्रामीण इलाकों में भी इनकी ठीक-ठाक आबादी है। गुजरात विधानसभा की 20 विधानसभा क्षेत्र में मुस्लिम वोटर्स सीधे सीधे डिसिजन मेकर्स हैं।

इंडिया टीवी-मैटेराइज़ के सर्वे में भी सवाल पूछा गया कि गुजरात का मुसलमान अबकी बार किसके साथ है। इसके जवाब में 14 परसेंट ने बीजेपी तो 62 परसेंट ने पंजे को चुना जबकि आम आदमी पार्टी 21 परसेंट पर अटकी हुई है और AIMIM जैसी पार्टियां फिलहाल तो कहीं नहीं दिख रही हैं। राज्य की 182 विधानसभा सीटों में 25 सीटें ऐसी हैं जहां मुस्लिम मतदाता किसी भी राजनीतिक पार्टी का गणित बनाने और बिगाड़ने का कूवत रखते हैं। पिछले विधानसभा चुनाव की बात करें तब बीजेपी ने एक दर्जन से ज्यादा मुस्लिम बाहुल्य सीटों पर जीत का परचम लहराया था। 

अब सवाल यह उठता है कि क्या बीजेपी इस बार भी पिछले विधानसभा चुनाव में मिली सफलता दोहरा पाएगी? बीजेपी इसे बरकरार रखने की जद्दोजहद में लग गई है। मुस्लिम वोटर्स को साधने के लिए गुजरात का हज कोटा पिछले तीन सालों में 4 हजार से बढ़कर 15 हजार कर दिया गया है, मुस्लिमों के नाम पर हाउसिंग सोसाइटी बनवाई जा रही है, सरकारी नौकरियों में मुसलमानों की 9 परसेंट भागीदारी, बीजेपी सदस्यता अभियान के दौरन गुजरात के 5 लाख मुस्लिम बीजेपी के प्राइमरी सदस्य बने हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पर EVM का बटन दबाने वाले मुसलमानों में वो चेहरे भी हैं जिन्हें मोदी ने आयुष्मान भारत दिया, अपना आशियाना दिया और इस बार ये सब गेम चेंजर साबित हो सकते हैं। जहां बीजेपी के पारंपरिक 20 परसेंट मुसलमान वोटर्स डटे हुए हैं तो वहीं अलग अलग विधानसभा क्षेत्रों में बीजेपी ने कम से कम '100 अल्पसंख्यक मित्र' की मुहिम शुरु कर दी है। पिछले महीने ही बड़ी संख्या में मुस्लिम वर्कर्स ने बीजेपी ज्वाइन की है।

सीएसडीएस के आंकड़े बताते हैं कि पिछले विधानसभा चुनाव में लगभग 20 परसेंट मुस्लिम वोटर्स ने बीजेपी को वोट दिया था। बीजेपी नेता अमित शाह भी मानते हैं कि उन्हें मुस्लिम मतदाताओं का भी समर्थन मिलता है। 2017 के चुनाव में जिन 117 सीटों पर मुस्लिम वोटर्स की संख्या 10 परसेंट थी उनपर कांग्रेस ने 50 जबकि बीजेपी ने 62 सीटें जीतीं। कांग्रेस का वोट परसेंट 41.52 था और बीजेपी का 47.99 प्रतिशत था।

इसी तरह जिन 53 सीटों पर मुस्लिम वोटर्स 10 से 20 परसेंट थे वहां कांग्रेस को 22 और बीजेपी को 31 सीट मिले। कांग्रेस के खाते में 41.90 परसेंट और बीजेपी के खाते में 51.70 परसेंट वोट गए। जिन 12 सीटों पर मुस्लिम 20 परसेंट से ज़्यादा थे वहां कांग्रेस को 5 और बीजेपी को 6 सीट पर जीत मिली। कांग्रेस का वोट शेयर 38.59 प्रतिशत और बीजेपी को वोट शेयर 48.01 परसेंट रहा।

बता दें कि गुजरात में विधानसभा की 182 सीटों पर दो चरण में एक और पांच दिसंबर को मतदान है। पहले चरण में 89 और दूसरे चरण में 93 सीटों पर मतदान है। 2017 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को 99 और कांग्रेस को 77 सीटें हासिल हुई थीं। इस बार आम आदमी पार्टी भी गुजरात में पूरा जोर लगा रही है। 2014 और 2019 के लोकसभा चुनावों और 2017 और 2022 के यूपी विधानसभा चुनावों में भी यह संकेत मिला है कि मुस्लिम मतदाताओं के लिए बीजेपी अब अछूत पार्टी नहीं रही है। ऐसे में अब यह देखना होगा कि गुजरात विधानसभा चुनाव में मुस्लिम वोटर्स का रुझान किस ओर रहेगा?