अखिलेश ने पीएम मोदी पर साधा निशाना, कहा- देश को 'प्रचार मंत्री' नहीं 'प्रधानमंत्री' चाहिए
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने केन्द्र की नरेन्द्र मोदी सरकार पर स्वच्छ भारत योजना के लिए अकूत धन इकट्ठा करने का आरोप लगाते हुए बुधवार को कहा कि देश को 'प्रचार मंत्री' नहीं, बल्कि 'प्रधानमंत्री' चाहिए।
हरदोई/कानपुर (उप्र): सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने केन्द्र की नरेन्द्र मोदी सरकार पर स्वच्छ भारत योजना के लिए अकूत धन इकट्ठा करने का आरोप लगाते हुए बुधवार को कहा कि देश को 'प्रचार मंत्री' नहीं, बल्कि 'प्रधानमंत्री' चाहिए। अखिलेश ने हरदोई की एक चुनावी जनसभा में कहा, ''भाजपा वालों ने झाड़ू लगाने के लिये न जाने कितना पैसा इकट्ठा किया है। आपको याद है कि नहीं, शुरू में वे सब झाड़ू लिये घूम रहे थे। देश के प्रधानमंत्री ने भी झाड़ू लिया और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री भी झाड़ू लिया। बताओ कूड़ा खत्म हुआ क्या ? कहां है कूड़ा ? कूड़ा भाजपा के दिमाग में है। इनकी बात शौचालय से ही शुरू होती है और शौचालय पर ही खत्म हो जाती है।''
उन्होंने कहा, ''वो (भाजपा) कहते हैं कि गठबंधन देश को मजबूत प्रधानमंत्री नहीं दे सकता। हम भरोसा दिलाना चाहते हैं कि जब भी जरूरत पड़ी है, देश को गठबंधन ने मजबूत और शानदार प्रधानमंत्री दिये हैं। हमें प्रचार मंत्री नहीं प्रधानमंत्री चाहिए।'' सपा अध्यक्ष ने कहा कि भाजपा के राज में सीमाएं असुरक्षित हुई हैं। एक के बदले दुश्मन सैनिकों के 10 सिर लाने का वादा कर सत्ता में आये मोदी ने सीमा पर सबसे ज्यादा जवानों को शहीद करवा दिया। उन्होंने कहा कि भाजपा दावे कर रही है कि उसकी वजह से सीमाएं सुरक्षित हैं, मगर सरहदें अगर महफूज हैं तो वे सिर्फ हमारे जवानों की वजह से, भाजपा की वजह से नहीं।
अखिलेश ने कांग्रेस और भाजपा दोनों को ही घेरते हुए कहा, ''एक पार्टी कह रही है कि योजना आयोग खराब है। दूसरी पार्टी कह रही है कि नीति आयोग खराब है। हम कहते हैं कि लोगों को पढ़ा—लिखा बना दो, उसे लोहिया आवास दे दो, गरीब अपने घर में शौचालय खुद ही बना लेगा।''
उन्होंने कहा कि सपा—बसपा—रालोद गठबंधन 'महामिलावट' नहीं, बल्कि देश में महापरिवर्तन लाने का काम यह गठबंधन कर रहा है। ''यह महागठबंधन गरीब का, गांव में रहने वाले का है। जिन्हें सम्मान नहीं मिल पाया इतने वर्षों से, यह उनका गठबंधन है। जो हमारे लोग खेत में काम कर रहे हैं ... पसीना बहाने वाले लोग ... यह उन लोगों का गठबंधन है।''
अखिलेश ने हरदोई की राजनीति में प्रभावशाली माने जाने वाले भाजपा नेता नरेश अग्रवाल का नाम लिये बगैर उन पर हमला करते हुए कहा कि उन्हें तो 'ठर्रे' में भी हनुमान जी दिखायी पड़ते हैं। उन्होंने अग्रवाल पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जिसका ‘चक्र’ पूरा हो जाए, उसे गणित में 'जीरो' कहते हैं । जनता जानती है कि उनकी पोल खुल चुकी है। वह जीरो हो गये हैं।
अखिलेश ने कानपुर में एक चुनावी जनसभा में कहा, ''भाजपा की तरह कांग्रेस भी राजनीतिक विरोधियों को धमकाने में भरोसा करती है।'' उन्होंने कहा कि हमारा कांग्रेस से गठबंधन था लेकिन हमने पाया कि कांग्रेस का अहंकार बहुत बड़ा है। सपा ने 2017 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस से हाथ मिलाया था लेकिन बाद में गोरखपुर, फूलपुर और कैराना लोकसभा उपचुनाव के लिए उसने बसपा और रालोद से हाथ मिलाया। सपा—बसपा गठबंधन ने हालांकि इस बार के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को अलग रखा है।
अखिलेश ने कहा कि भाजपा को कांग्रेस नहीं, बल्कि सपा—बसपा गठबंधन रोक रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस जब केन्द्र की सत्ता में थी तो उसने नेताजी (मुलायम सिंह यादव) के खिलाफ सीबीआई जांच करायी। उन्होंने दावा किया कि एक कांग्रेसी अभी भी वही काम कर रहा है। अखिलेश ने कांग्रेस कार्यकर्ता विश्वनाथ चतुर्वेदी की ओर इशारा करते हुए कहा कि वह मौजूदा आम चुनाव के समय उनकी छवि धूमिल करने के मकसद से पिता मुलायम और उनके खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का पुराना मामला उठाने का प्रयास कर रहे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने हमेशा अपने साझेदारों के साथ धोखा किया है। उन्होंने जनता से कहा कि वह भाजपा को 'नोटबंदी' का जवाब 'वोटबंदी' से दे क्योंकि नोटबंदी ने देश की अर्थव्यवस्था को बर्बाद कर दिया।