Lok Sabha Elections 2024: बांसुरी स्वराज Vs सोमनाथ भारती, नई दिल्ली सीट पर जीत की हैट्रिक लगाएगी BJP या AAP का खुलेगा खाता?
Hot seats in Lok Sabha Elections 2024: दिल्ली की लोकसभा सीटों पर आम आदमी पार्टी और कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ रही हैं। इसके मद्देनजर नई दिल्ली लोकसभा सीट से बीजेपी की बांसुरी स्वराज के सामने 'आप' ने सोमनाथ भारती को चुनावी मैदान में उतारा है।
Lok Sabha Elections 2024: लोकसभा चुनाव 2024 के लिए तारीखों का ऐलान हो गया है। इसी के साथ राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली समेत पूरे देश में आदर्श आचार संहिता लागू हो गई है। सात चरणों में लोकसभा चुनाव होंगे। दिल्ली में एक चरण में मतदान होगा। दिल्ली की सभी 7 लोकसभा सीटों पर 25 मई को छठे चरण में मतदान होगा। केंद्र की सत्ता में काबिज भारतीय जनता पार्टी ने दिल्ली की सभी 7 सीटों पर उम्मीदवारों का ऐलान कर दिया है। वहीं, यहां से I.N.D.I.A गठबंधन के तहत आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस मिलकर कर चुनाव लड़ रही हैं। यहां कांग्रेस तीन तो 'आप' चार सीटों पर चुनाव लड़ेगी। 'आप', नई दिल्ली, पूर्वी दिल्ली, पश्चिमी दिल्ली और दक्षिणी दिल्ली की सीट पर चुनाव लड़ रही है, तो कांग्रेस चांदनी चौक, उत्तर-पूर्वी दिल्ली और उत्तर-पश्चिमी दिल्ली की सीट पर अपने प्रत्याशियों के नाम का ऐलान करेगी। 'आप' ने चार सीटों पर अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है।
दिल्ली की इन 7 सीटों में नई दिल्ली लोकसभा सीट की बात की जाए तो पिछले दो बार से लगातार बीजेपी जीतती आ रही है और दोनों ही मौकों पर मीनाक्षी लेखी ने यहां पर बेजेपी का परचम लहराया है। हालांकि, बीजेपी ने इस बार यहां से पार्टी की पूर्व कद्दावर नेता और मंत्री रहीं सुषमा स्वराज की बेटी बांसुरी स्वराज को चुनावी मैदान में उतारा है। दूसरी तरफ बीजेपी को चुनौती देने के लिए I.N.D.I.A गठबंधन का हिस्सा बनी आम आदमी पार्टी (AAP) ने यहां से मालवीय नगर विधानसभा से तीन बार के विधायक और पेशे से सुप्रीम कोर्ट के वकील सोमनाथ भारती को चुनावी मैदान में उतारा है।
बांसुरी के लिए कितनी बड़ी है चुनौती?
नई दिल्ली से बीजेपी उम्मीदवार बांसुरी स्वराज की बात की जाए तो उनकी राजनीतिक पारी लंबी तो नहीं, लेकिन बहुत कम वक्त में ही उन्होंने बीजेपी और राजनैतिक जीवन में जोरदार उपस्थिति दर्ज कराई है। बांसुरी पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की बेटी हैं, जो उनकी सबसे बड़ी पहचान है। उन्हें राजनीति विरासत में मिली है। 42 वर्षीय बांसुरी पिछले 17 वर्षों से कानूनी पेशे में हैं और वर्तमान में सुप्रीम कोर्ट में वकालत कर रही हैं। बीजेपी ने युवाओं को साधने की नीयत से उन्हें नई दिल्ली लोकसभा सीट से अपना प्रत्याशी बनाया है।
कैसे पार पाएंगे सोमनाथ भारती?
इंडिया (I.N.D.I.A) गठबंधन के प्रत्याशी सोमनाथ भारती की बात की जाए तो उन्होंने अपने दम पर राजनीति में अपने लिए एक अलग पहचान बनाई है। अन्ना आंदोलन से सियासत में कदम रखने वाले सोमनाथ भारती दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के करीबी माने जाते हैं। वे तीन बार लगातार मालवीय नगर विधानसभा सीट से AAP के विधायक चुने जा रहे हैं और पेशे से वे सुप्रीम कोर्ट के वकील हैं। अपने क्षेत्र में इनकी काफी अच्छी पकड़ है। यही वजह है कि I.N.D.I.A गठबंधन की तरफ से जीत हासिल करने और बीजेपी को पटखनी देने के लिए उनके चेहरे पर आम आदमी पार्टी (AAP) ने दांव लगाया है।
नई दिल्ली की विधानसभा सीटों पर कब्जा?
नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र के अंदर आने वाली सभी 10 विधानसभा सीटों पर आम आदमी पार्टी का कब्जा है। बीजेपी और I.N.D.I.A गठबंधन दोनों ने युवाओं को साधने के मकसद से यहां से राजनीति में नए चेहरों को मौका दिया है। हालांकि, ये भी है कि I.N.D.I.A गठबंधन के तहत आप प्रत्याशी सोमनाथ भारती के लिए यहां से बीजेपी को हराना बहुत मुश्किल है। वहीं, इस बार बीजेपी के लिए भी दिल्ली समेत इस सीट पर क्लीन स्वीप कर पाना आसान नहीं है। भले ही पिछले दो बार से बीजेपी नई दिल्ली लोकसभा सीट पर जीतती आ रही है, लेकिन इस लोकसभा की सभी 10 विधानसभा सीटों पर 'आप' का कब्जा है। पिछले तीन बार से नई दिल्ली विधानसभा सीट से मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जीतते आ रहे हैं।
नई दिल्ली सीट का चुनावी इतिहास
नई दिल्ली लोकसभा सीट के चुनावी इतिहास की बात की जाए तो भले ही इसे बीजेपी का गढ़ माना जाता है, लेकिन विपक्षी दलों ने यहां बीजेपी को कड़ी टक्कर दी है। 1951 में इस सीट के अस्तित्व में आने के बाद से इस सीट से सुचेता कृपलानी, बलराज मधोक, अटल बिहारी वाजपेयी, लाल कृष्ण आडवाणी, जगमोहन जैसे नेता जनता का प्रतिनिधित्व कर चुके हैं। 1952 में इस सीट से क्रांतिकारी एवं स्वतंत्रता सेनानी सुचेता कृपलानी किसान मजदूर पार्टी के टिकट पर चुनाव जीती थीं। इस पार्टी का गठन उन्होंने खुद किया था, जबकि 1957 में उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर इस सीट से जीत हासिल की थी। कांग्रेस का भी इस सीट पर प्रदर्शन काफी अच्छा रहा है। पिछले दो बार की बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी से पहले इस सीट से लगातार दो बार कांग्रेस ने जीत हासिल की थी और दोनों ही बार अजय माकन ने जनता का प्रतिनिधित्व किया था।