Delhi News: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने नौ लाख रुपये की रिश्वतखोरी के एक मामले में, केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) के एक वरिष्ठ अधिकारी और बायोकॉन बायोलॉजिक्स के एक कार्यकारी समेत पांच लोगों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया है। अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि 18 अगस्त को दाखिल आरोपपत्र में कहा गया है कि बायोकॉन बायोलॉजिक्स के सहायक उपाध्यक्ष एल. प्रवीण कुमार की मंजूरी के बाद संयुक्त औषधि नियंत्रक एस. ईश्वर रेड्डी को नौ लाख रुपये रिश्वत के तौर पर दिए गए। अधिकारियों ने कहा कि आरोपपत्र में सिनर्जी नेटवर्क इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक दिनेश दुआ को भी नामजद किया गया है जिन्होंने रेड्डी को रिश्वत दी।
गुलजीत सेठी और अनिमेष कुमार नामजद
इसके अलावा बायोकॉन बायोलॉजिक्स के कथित संपर्क सूत्र गुलजीत सेठी और सहायक औषधि निरीक्षक अनिमेष कुमार भी आरोपपत्र में नामजद हैं। अधिकारियों ने कहा कि यह रिश्वत इन्सुलिन एस्पार्ट इंजेक्शन की फाइल को 18 मई को हुई विषय विशेषज्ञ समिति (एसईसी) की बैठक में कथित तौर पर भेजने के लिए सुझाव देने के लिए दी गई ताकि तीसरे चरण के क्लीनिकल ट्रायल से बचा जा सके।
अभियोजन चलाने के लिए मंजूरी मिलने का इंतजार
उन्होंने कहा कि रेड्डी और सीडीएससीओ के अन्य अधिकारियों पर अभियोजन चलाने के लिए मंजूरी मिलने का इंतजार किया जा रहा है। एक समन्वित अभियान के तहत केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो ने सभी पांचों आरोपियों को गिरफ्तार किया। किरण मजूमदार शॉ की कंपनी बायोकॉन की सहायक शाखा बायोकॉन बायोलॉजिक्स ने रिश्वत लेने के आरोपों का खंडन किया है।