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दिल्ली में कोरोना ने तोड़े अब तक के सारे रिकॉर्ड, 24 घंटों में आए 1800 से ज्यादा मामले

दिल्ली में कोरोना वायरस हर दिन नए रिकॉर्ड बना रहा है। यहां दिनों दिन बड़ी संख्या में मामले सामने आ रहे हैं।

<p>Dehli Coronavirus cases</p>- India TV Hindi Image Source : AP Dehli Coronavirus cases

दिल्ली में कोरोना वायरस हर दिन नए रिकॉर्ड बना रहा है। यहां दिनों दिन बड़ी संख्या में मामले सामने आ रहे हैं। लेकिन गुरुवार का दिन दिल्ली के लिए किसी कहर से कम नहीं था। दिल्ली में पिछले 24 घंटों में 1800 से अधिक मामले सामने आए हैं। यह अब तक एक दिन में सामने आए सबसे अधिक मामले थे। इसके साथ ही दिल्ली में कोरोना संक्रमितों की संख्या 34000 के पार पहुचं गई है। वहीं मृतकों का आंकड़ा भी 1085 पर पहुंच गया है। 

राज्य के स्वास्थ्य विभाग के अनुसार दिल्ली में एक दिन में 1877 नए मामले सामने आए हैं। ये अबतक का एकदिन में सबसे अधिक लोगों के संक्रमण का फिगर है। इसके साथ ही दिल्ली में कोरोना मरीजों की संख्या 34687 पहुच गयी है। बीते 24 घंटे में 65 लोगों की मौत हुई है। अबतक दिल्ली में कोरोना से 1085 लोगों की मौत हो चुकी है। अच्छी बात यह है कि आत 486 लोग अस्पताल से स्वस्थ होकर डिस्चार्ज हुए हैं। इस प्रकार दिल्ली में स्वस्थ होने वालों का आंकड़ा बढ़कर 12731 पहुंच गया है। वहीं इस समय दिल्ली में एक्टिव मामलों की संख्या 20871 है। 

कोविड-19 अस्पतालों में करीब 70 % बेड खाली

दिल्ली सरकार द्वारा कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए नामित पांच अस्पतालों में लगभग 70 प्रतिशत बिस्तर खाली पड़े हैं, इसके बावजूद राष्ट्रीय राजधानी में कोविड-19 रोगियों के लिए बिस्तर उपलब्ध न होने या उपचार न मिलने की शिकायतें मिली हैं। इसको लेकर विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसी स्थिति इसलिए है क्योंकि लोग सरकारी अस्पतालों में इलाज नहीं कराना चाह रहे हैं। बृहस्पतिवार दोपहर को ‘दिल्ली कोरोना’ ऐप पर साझा की गई नवीनतम जानकारी के अनुसार, इन पांच कोविड-19 अस्पतालों में 3,000 से अधिक बिस्तर खाली पड़े हैं, जिनकी कुल क्षमता 4,344 बिस्तरों की है। हालांकि, कई बड़े निजी अस्पतालों के लगभग सभी बिस्तर भरे हैं। कोविड-19 के कई पुष्ट व संदिग्ध रोगियों के परिवारों ने पिछले कुछ हफ्तों में आरोप लगाए हैं कि उन्हें कई अस्पतालों में उनके परिजनों को भर्ती नहीं किया गया या उन्हें बिस्तर नहीं मिल सके।चिकित्सा और सार्वजनिक स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना ​​है कि ऐसा सरकारी अस्पतालों की छवि, बुनियादी ढांचे और स्वच्छता की स्थिति और शायद कर्मचारियों की कमी के कारण हो सकता है। बृहस्पतिवार दोपहर को ‘दिल्ली कोरोना’ ऐप पर उपलब्ध नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, केंद्र और दिल्ली सरकारों द्वारा संचालित अस्पतालों और निजी अस्पतालों में कुल 9,444 बिस्तर उपलब्ध हैं। इनमें से 4,371 खाली हैं। 

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