हापुड़: उत्तर प्रदेश के हापुड़ जनपद के थाना धौलाना के अंतर्गत औद्योगिक क्षेत्र पुलिस चौकी प्रभारी रहे उपनिरीक्षक ब्रजेश यादव को मेरठ पुलिस ने शराब माफिया से सांठगांठ तथा जब्त कैमिकल को शराब माफियाओं को बेचने के आरोप में गिरफ्तार किया है। पुलिस अधिकारियों ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि पुलिस अधीक्षक (SP) नीरज जादौन ने भी आरोपी दरोगा के खिलाफ जांच शुरू करा दी है और पुलिस क्षेत्राधिकारी (CO) पिलखुवा को जांच अधिकारी बनाया है। उन्होंने बताया कि जांच में दोषी पाए जाने पर आरोपी की बर्खास्तगी की कार्रवाई की जाएगी। पुलिस सूत्रों के मुताबिक, बृजेश यादव को सस्पेंड करके गिरफ्तार किया गया है।
यूं खुल गई पूरे मामले की पोल
पुलिस सूत्रों के मुताबिक, मंगलवार को मेरठ की मवाना कोतवाली पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर जहरीली शराब के साथ मेरठ के गांव जघेड़ी से एक वाहन के साथ इरफान और आसिफ को गिरफ्तार किया था। पुलिस के अनुसार पूछताछ में इन लोगों ने बताया कि उन्हें तालिब द्वारा यह केमिकल धौलाना UPSIDC चौकी से दिलावाया गया था। सूत्रों के अनुसार मेरठ पुलिस ने इस मामले में छानबीन की तो तत्कालीन चौकी प्रभारी ब्रजेश यादव की मिलीभगत का खुलासा हुआ। मवाना पुलिस का आरोप है कि दरोगा बृजेश यादव ने शराब माफिया को केमिकल बेचा है। वहीं आरोपी दरोगा ने अपने को निर्दोष बताया है और कहा है कि सिपाहियों ने केमिकल बेचा होगा।
एक सप्ताह में पूरी होनी है जांच
5 जनवरी-2019 को गाजियाबाद पुलिस की ओर से मिली जानकारी पर हापुड़ आबकारी और धौलाना पुलिस की टीम ने प्लास्टिक के 120 ड्रमों में पंजाब से तस्करी करके लाया गया 24 हजार लीटर इथाइल एल्कोहल UPSIDC क्षेत्र स्थित एक गोदाम से बरामद किया था। आरोप है कि UPSIDC चौकी पर तैनात दरोगा ब्रजेश यादव ने इथाइल एल्कोहल के 8 ड्रम गांव खिचरा निवासी इरफान व आसिफ राणा के साथ मिलकर शराब माफिया को बेच दिए। वहीं, एसपी हापुड़ नीरज कुमार जादौन ने दरोगा पर लगे आरोपों व कार्यशैली की जांच CO पिलखुवा डॉक्टर तेजवीर सिंह को सौंपी है। सूत्रों के अनुसार जांच एक सप्ताह में पूरी करके पुलिस अधीक्षक को सौंपनी है। सूत्रों के अनुसार जांच रिपोर्ट में यदि दरोगा दोषी पाया जाता है तो उसकी बर्खास्तगी की रिपोर्ट DGP को भेजी जाएगी।
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