A
Hindi News बिज़नेस बुलंद भारत की बुलंद कंपनी बनाने वाले बजाज हुए 77 साल के

बुलंद भारत की बुलंद कंपनी बनाने वाले बजाज हुए 77 साल के

नई दिल्ली: हमारा बजाज टैगलाइन देने वाले और आटोमोबाइल सैक्टर की एक दिग्गज भारतीय कंपनी को बुलंदियों पर पहुंचाने वाले राहुल बजाज आज 77 साल के हो चुके हैं। हम अपनी खबर में आपको उनके

बजाज का इतिहास-

बजाज ऑटो लिमिटेड भारतीय मोटर वाहन कंपनी है जो कि बजाज ग्रुप का हिस्सा है। इसकी स्थापना साल 1930  में राजस्थान में जमनालाल बजाज ने किया था। इसके प्लांट पुणे, औरंगाबाद और उत्तरांचल में है। बजाज का सबसे पुराना प्लांट पुणे के अकुरडी में है जिसे अब आर एंड डी सेंटर बना दिया गया है। बजाज ऑटो ऑटोमोबाइल,  स्कूटर, मोटर साइकल और ऑटो रिक्शा बनाता है तथा निर्यात करता है।

साल 1972 में पिता के गुजर जाने के बाद राहुल बजाज ने मैनेजिंग डाएरेक्टर की कुर्सी संभाली। साल 1975 से 1977  तक वह डिवेलपमेंट काउंसिल फॉर ऑटोमोबाइल्स और एलाइड इंडस्ट्री के चेयरमैन रहे। साल 1992 में वो इंडो-जर्मन कनसल्टेटिव ग्रुप के सदस्य भी रहे। इसके अलावा बजाज सीआईआई में साल 1979 से 1980 और साल 1999 से 2000 तक अध्यक्ष रहे। राहुल बजाज जनवरी 2001 में दाओस, स्विटजरलैंड में आयोजित वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम की अध्यक्षता भी कर चुके हैं। फोर्ब्स ग्लोबल-2000  की सूची में साल 2005 में बजाज ऑटो की रैंक 1,946 और साल 2011 में यह बेहतर होकर 1639 हो गई।

साल 1980 में लाइसेंस और परमिट की मुश्किलों के बाद राहुल बजाज ने अकुरडी और वालुज में फैक्ट्री खड़ी कर दी, जो 80 के दशक की टॉप स्कूटर मैन्युफैक्चर कंपनी बन गई। फिर कंपनी ने चेतक स्कूटर लॉन्च किया जिसकी उम्मीद से भी कई ज्यादा मांग देखी गई। साल 1996  में बजाज ऑटो एक मात्र कंपनी थी जिसका कोई भी विदेशी निवेश या साझेदारी नहीं थी।