पटना: बिहार के गया के मोहड़ा प्रखंड के तेतर पंचायत में मुखिया के चुनाव में मिली हार का गुस्सा एक प्रत्याशी ने सड़क काट कर निकाला। हार से बौखलाए मुखिया प्रत्याशी धीरेंद्र यादव ने पांच गांवों को जोड़ने वाली सड़क को ही काट डाला और काफी बड़ा गढ्ढा कर दिया। उसने जेसीबी से सड़क को करीब दस फीट की दूरी तक खोद दिया। इसके बाद गाड़ियों का आना जाना तो बंद हो ही गया, गाँव के लोगों के लिये पैदल आना जाना भी मुश्किल हो गया।
यहां पंचायत चुनाव में मुखिया पद के लिये 16 उम्मीदवार मैदान में थे। इनमें से एक धीरेन्द्र यादव भी था। यहां पूर्व मुखिया चुन्नू सिंह की पत्नी शिल्पी सिंह भी खड़ी थी। चुनाव नतीजे आने के तुरंत बाद ही हार से बौखलाया धीरेन्द्र यादव यहां पहुंचा और जेसीबी लगाकर सड़क को कटवा दिया और बड़ा गढ्ढा भी कर दिया।
गांव के कुछ लोगों के अनुसार सड़क के लिए धीरेन्द्र यादव ने पूर्व में अपनी जमीन दी थी। जब धीरेन्द्र को इस सड़क से फायदा पहुंचने वाले गांव के लोगों का ही वोट नहीं मिला तो उसने गुस्से में सड़क को खोद डाला। इस सड़क से चरवारा, जमुनापुर, नौडीहा, सोहाड़ी, सीतारामपुर गांव का सम्पर्क था। अब गांव के लोग सड़क काटे जाने को लेकर प्रशासन से लिखित शिकायत की तैयारी कर रहे हैं। तेतर पंचायत की नवनिर्वाचित मुखिया शिल्पी सिंह ने इसकी सूचना स्थानीय प्रशासन को दी है।
ऐसी हीं एक घटना उत्तर प्रदेश के बारंबंकी के सुबेहा थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले सरैया गांव में भी हो चुकी है। यहां पंचायत चुनाव में हार मिलने के बाद पूर्व प्रधान ने जेसीबी मंगाई और अपने कार्यकाल में बनवाई सड़क को उखाड़ डाला। चुनाव नतीजों के अनुसार पूर्व प्रधान दीपक कुमार तिवारी को सिर्फ हार ही नहीं मिली बल्कि वह नतीजों पर तीसरे नंबर पर रहा था। इससे नाराज पूर्व प्रधान ने अपने समर्थकों और साथियों के साथ मिलकर जेसीबी से गांव की जमीन खोद डाली थी।