पटना: बिहार सरकार द्वारा 14 साल कैद की अवधि पूरी कर लेने वाले पूर्व सांसद आनंद मोहन के साथ जिन 26 कैदियों को रिहा किया जाना है, उनमें एक ऐसे कैदी का भी नाम है जिसकी मौत महीनों पहले हो चुकी है। इस खामी को बक्सर जेल के अधीक्षक राजीव कुमार ने तब उजागर किया जब राज्य के कानून विभाग ने 24 अप्रैल को जारी अधिसूचना में जेल के पांच कैदियों को रिहा करने का आदेश दिया। जेल अधीक्षक ने कहा, ‘‘रिहा किये जाने वाले कैदियों की सूची में 93 वर्षीय प्रीतम राय का भी नाम है जिनकी मृत्यु पिछले साल नंवबर में ही हो गई थी।’’
1988 से बक्सर जेल में बंद थे प्रीतम राय
बता दें कि सिमरी थाना के केस संख्या 02/07/76 में प्रीतम राय को 35 साल पहले सजा हुई थी। वह 16 जनवरी, 1988 से बक्सर जेल में बंद थे। गृह विभाग की ओर से जब आदेश सेंट्रल जेल भेजा गया और रिहा किए जाने वाले कैदियों की खोज हुई तो पता चला कि प्रीतम राय की कई महीनों पहले मौत हो चुकी है।
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एक और कैदी की रिहाई में देरी
जेल अधीक्षक ने कहा कि एक अन्य कैदी रामाधार राम को भी रिहा नहीं किया जा सकता क्योंकि उसने अदालत द्वारा लगाए गए जुर्माने को नहीं भरा है। अधिकारी ने कहा, ‘‘रामाधार राम के परिवार को रिहाई आदेश की सूचना दी गई है। उसे जल्द रिहा किया जा सकता है अगर परिवार जुर्माने की राशि संबंधित अदालत में जमा करा दे।’’