नई दिल्ली: बिहार राजनीति की जानी-मानी शख्सियत शरद यादव ने आज अपनी राजनीतिक विरासत को तेजस्वी यादव को सौंप दिया। इस मौके पर उन्होने कहा कि बिहार का भविष्य तेजस्वी यादव हैं। रविवार को इस कार्यक्रम में शरद यादव के अलावा पार्टी के तमाम बड़े नेता मौजूद थे। 2018 में जेडीयू से अलग होकर शरद यादव ने अपने नई राजनीतिक पारी खेलनी शुरु की थी और लोकतांत्रिक जनता दल पार्टी बनाई थी।
बीजेपी को हराना है,तो विपक्ष एक होना जरुरी
इस मौके पर शरद यादव ने कहा कि ये एक नई शुरुआत है। ‘ये विलय व्यापक एकता के लिए पहला कदम है। इसमे हमने अपनी पहल कर दी है,पूरे देश के विपक्ष तो एक होकर ही बीजेपी को हराया जा सकता है।‘ पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने कहा कि उनकी पार्टी का आरजेडी में विलय होना इस बात को बताता है कि ये वक्त की मांग। अभी हमारा ध्यान विपक्ष को एकजुट करना है। उसके बाद हम इसके उपर विचार किया जाएगा कि विपक्ष का नेतृत्व कौन करेगा’
राज्यसभा जा सकते हैं शरद यादव
अब जल्द ही इस बात की घोषणा हो सकती है,कि जेडीयू अपने कोटे से शरद यादव को राज्यसभा भेजेगी। बिहार में जुलाई महीने में राज्यसभा की पांच सीटें खाली होनी है। माना जा रहा है कि इसमे 2 सीट आरजेडी के खाते में भी जाएगी। वहीं शरद यादव के राज्यसभा का कार्यकाल जुलाई 2022 में ही समाप्त हो रहा था।
गौरतलब है कि पिछले साल RJD प्रमुख लालू प्रसाद यादव से शरद यादव की हुई मुलाकात के बाद से ही इस बात के कयास लगने शुरु हो गए थे।